
India ने 'Sikh for Justice' की कोशिश विफल की, 40 वेबसाइट बैन की गईं
नई दिल्ली। अवैध संगठन 'सिख फॉर जस्टिस' पर सरकार ने बड़ी कार्रवाई की है। सरकार ने संगठन से जुड़ी 40 वेबसाइट्स बैन करने का फैसला किया है। संगठन पर वेबसाइट्स के माध्यम से गैरकानूनी काम करने के लिए लोगों का समर्थन जुटाने का आरोप है। यह कार्रवाई गृह मंत्रालय के निर्देश पर इलेक्ट्रॉनिक्स ऐंड इन्फोटेक मिनिस्ट्री की ओर से की गई है। आपको बता दें कि एक दिन हरियाणा पुलिस ने एक दिन पहले ही इस खालिस्तान समर्थक संगठन के मुखिया गुरपतवंत सिंह पन्नू के खिलाफ देशद्रोह और अलगाववाद की धाराओं मे मुकदमा दर्ज किया है।
गौरतलब है कि फिलहाल अमरीका में रह रहा पन्नू वहीं से ही टेलीकॉलिंग और वेबसाइट के माध्यम से लोगों का समर्थन जुटाने का प्रयास करता है। पुलिस के अनुसार पन्नू देश की अखंडता और सांप्रदायिक सौहार्द के लिए बड़ा खतरा है। खबर मिली है कि पन्नू 4 जुलाई को एक रेफरेंडम करवाने वाला था। जिसके लिए उसने वेबसाइट पर इसका प्रचार भी किया था। वहीं, पंजाब और हरियाणा उच्च न्यायालय ने संगठन पर हुई कार्रवाई पर असंतुष्टि जताई है। एसएफजे सिखों के लिए एक अलग मातृभूमि चाहता है।
एजेंसियों का कहना है कि भारत विरोधी अभियान 'रेफरेंडम 2020' की गतिविधियों को देखते हुए पंजाब में भारी सुरक्षा इंतजाम किए गए और उनके मंसूबों को कोई खास कामयाबी नहीं मिली। हालांकि एसएफजे ने एक दिन में पूरे राज्य में 10,000 मतदाता पंजीकरण फॉर्म वितरित करने का दावा किया है। एसएफजे ने रूसी वेबसाइट डब्ल्यू डब्ल्यू डब्ल्यू डॉट पंजाब फ्री डॉट आरयू के माध्यम से 'रेफरेंडम 2020' मतदाता पंजीकरण शुरू किया था। इसके बारे में पता चलते ही संबंधित विभागों की मदद से गृह मंत्रालय ने साइट को ब्लॉक कर दिया
Updated on:
05 Jul 2020 08:44 pm
Published on:
05 Jul 2020 08:38 pm
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