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इस कॉरपोरेट घराने ने लाल किले को लिया गोद, इतिहास में ऐसा हुआ पहली बार

अपनी किस्म का यह काम भारत के इतिहास में पहली बार हुआ है, जब किसी कॉरपोरेट घराने को लाल किला पांच साल के लिए सौंप दिया गया हो।

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लाल किला

नई दिल्ली। देश की आन-बान-शान और एतिहासिक विरासत दिल्ली स्थित लाल किले को प्रतिष्ठित कॉरपोरेट घराना डालमिया ग्रुप ने पांच साल के लिए गोद ले लिया है। अपनी किस्म का यह काम भारत के इतिहास में पहली बार हुआ है जब किसी कॉरपोरेट घराने को लाल किला पांच साल के लिए सौंप दिया गया हो। बता दें कि देश की इस ऐतिहासिक धरोहर को संवारने की खातिर डालमिया ग्रुप ने सरकार से 25 करोड़ रुपए में डील की है। गौरतलब है कि डालमिया ग्रुप ने यह कॉन्ट्रेक्ट इंडिगो एयरलाइंस और जीएमआर ग्रुप को हरा कर जीता है। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक यह कॉन्ट्रैक्ट सरकार की ऐतिहासिक स्मारकों को गोद देने की स्कीम 'एडॉप्ट ए हेरिटेज' का हिस्सा है। डालमिया ग्रुप लाल किले को पर्यटकों के बीच लोकप्रिय बनाने के लिए उसे नए सिरे से विकसित करने के तौर-तरीकों पर विचार कर रहा है।

23 मई से शुरू हो सकती है काम की प्रक्रिया

आपको बता दें कि मीडिया सोर्स के मुताबिक डालमिया ग्रुप 23 मई से लाल किले को संवारने के प्रक्रिया को शुरू कर देंगे। डाल‍मिया भारत ग्रुप के सीईओ महेंद्र सिंघी ने कहा कि लाल किले में 30 दिनों के अंदर काम शुरू कर दिया जाएगा। बता दें कि 15 अगस्त को पीएम के भाषण के लिए डालमिया ग्रुप को लाल किला सुरक्षा एजेंसियों को सौंपना होगा। हालांकि इसके बाद एक बार फिर से उन्हें वापस दे दिया जाएगा। गौरतलब है कि लाल किले के कॉन्ट्रैक्ट को लेकर डालमिया भारत ग्रुप, टूरिज्म मिनिस्ट्री, आर्कियोलॉजी सर्वे ऑफ इंडिया (ASI) के बीच बीती 9 अप्रैल को डील हुई। कॉन्ट्रैक्ट के मुताबिक ग्रुप को 6 महीने के भीतर लाल किले में बेसिक सुविधाएं देनी होंगी।

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कैसे संवारा जाएगा लाल किला

बता दें कि डाल‍मिया भारत ग्रुप के सीईओ महेंद्र सिंघी ने कहा है कि लाल किले का विकास यूरोप के किलों की तरह किया जाएगा। उनेहोंने कहा कि हालांकि यूरोप के कुछ किले लाल किले के मुकाबले बहुत ही छोटे हैं, लेकिन उन्‍हें बहुत ही बेहतरीन तरीके से विकसित किया गया है। हम लोग भी लाल किले को उसी तर्ज पर विकसित करेंगे और यह दुनिया के सबसे बेहतरीन स्‍मारकों में से एक होगा।’ गौरतलब है कि कॉन्ट्रैक्ट के मुताबिक एक साल के भीतर डालमिया ग्रुप को टेक्सटाइल मैप, टायलेट अपग्रेडेशन, रास्तो पर लाइटिंग, बैटरी से चलने वाले व्हीकल, चार्जिंग स्टेशन और एक कैफेटेरिया बनाना होगा। डालमिया ग्रुप इसके लिए लाल किला देखने आने वाले पर्यटकों से पैसे चार्ज करेगा। इसमें पीने के पानी की सुविधा, स्ट्रीट फर्नीचर जैसी सुविधा शामिल हैं। ग्रुप को जितना पैसा मिलेगा, उसे वो पैसा फिर से लाल किले के विकास पर ही लगाना होगा। इसके अलावा ग्रुप लाल किले के भीतर अपनी ब्रांडिंग कर सकेगा।

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लाल किले के बाद ताजमहल की बारी

अापको बता दें कि 'एडॉप्ट ए हेरीटेज' के तहत बहुत जल्द ही ताजमहल को गोद लेने की प्रक्रिया भी पूरी हो जाएगी। ताजमहल को गोद लेने के लिए जीएमआर स्पोर्ट्स और आईटीसी अंतिम दौर में है। उल्लेखनीय है कि मोदी सरकार ने ऐतिहासिक धरोहरों को सजाने-संवारने और संरक्षित करने के लिए 'एडॉप्ट ए हेरीटेज' स्कीम सितंबर 2017 में लाॅन्च की थी। सरकार के मुताबिक देश भर के 100 ऐतिहासिक स्मारकों के लिए ये स्कीम लागू की गई है। इसमें ताजमहल, कांगड़ा फोर्ट, सती घाट और कोणार्क मंदिर जैसे कई प्रमुख स्थान हैं।