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उत्तर कोरिया के नए कानून को न मानने पर मिलेगी मौत की सजा, देश में इस हरकत पर लगाया बैन

उत्तर कोरिया में कुछ समय पहले नया कानून पास हुआ है, इसमें दक्षिण कोरिया में प्रचलित आपत्तिजनक शब्दों को आम बोल-चाल की भाषा में लाने पर सजा दी जाएगी।

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kim jong un

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सियोल। उत्तर कोरिया (North Korea) के सुप्रीम कमांडर किम जोंग उन (Kim Jong Un) अपने तानाशाही फरमानों के लिए जाने जाते हैं। उन्होंने अपने देश में सख्त पाबंदियां लगा दी हैं। उत्तर कोरिया में कुछ समय पहले नया कानून पास हुआ है, इसके मुताबिक कोई भी शख्स अगर दक्षिण कोरिया, अमरीका और जापान की मीडिया से जुड़ा कंटेंट शेयर करता है है तो उसे मौत की सजा हो सकती है।

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विदेशी फैशन पहले ही बैन

इसके आलावा दक्षिण कोरिया में प्रचलित आपत्तिजनक शब्दों को आम बोल-चाल की भाषा में लाने पर पाबंदी लगाई गई है। यहां पर दक्षिण कोरिया के हेयरस्टायल और विदेशी फैशन पहले ही बैन हो गए हैं। लोगों से कहा गया है कि उत्तर कोरिया की भाषा सर्वश्रेष्ठ है और उन्हें दक्षिण कोरिया में उपयोग होने वाली भाषा पर मौत की सजा तक हो सकती है।

15 वर्ष जेल में बीताने होंगे

उत्तर कोरिया के तानाशाह किम जोंग ने ऐलान किया है कि अगर कोई दक्षिण कोरिया, जापान और अमरीका की मीडिया को फॉलो करता है तो उसे 15 वर्ष जेल में बिताने होंगे। उत्तर कोरिया के अखबार रोडोंग सिनमन में साउथ कोरिया के पॉप कल्चर के खतरों के बारे में लिखा है कि रंग-बिरंगे कपड़ों में दिखते लोग हमारी संस्कृति को तबाह करना चाहते हैं। ये लोग उनसे भी अधिक खतरनाक हैं जिनके हाथों में बंदूकें हैं।

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यूनिवर्सिटी ऑफ नॉर्थ कोरियन स्टडीज के प्रोफेसर यांग मू-जिन ने कोरिया हेराल्ड से बातचीत में कहा कि किम जोंग उन खुद स्विट्जरलैंड में पढ़े लिखे हैं। वे जानते हैं कि कोरियन पॉप म्यूजिक और पश्चिमी संस्कृति बेहद आसानी से उत्तर कोरिया के युवा लोगों को प्रभावित कर रही है।

किम इसका परिणाम जानते हैं

प्रोफेसर यांग मू-जिन के अनुसार किम इसका परिणाम जानते हैं। बाहरी संस्कृति का असर पड़ने से युवा बागी हो सकते हैं। वे किम के तानाशाही रवैये का विरोध करेंगे। यही कारण है कि किम दूसरे देशों के पॉप कल्चर, म्यूजिक और मीडिया को अपने देश में प्रचलित नहीं होने देने का प्रयास कर रहे हैं। उसे न मानने वालों को कड़ी सजा देने की बात कर रहे हैं।