
नई दिल्ली। मंगलवार यूक्रेन में रह रहे एक रूसी पत्रकार को उसके घर के करीब गोली मार दी गई जिसके बाद उसकी मौत हो गई। लेकिन मौत के चौबीस घंटे बाद ही वह पत्रकार फिर से जिंदा हो गया। इस घटना की दुनियाभर निंदा की गई लेकिन इस मौत का असली राज सामने आने के बाद सबकी आंखें फटी रह गईं। 24 घंटे बाद अचानक मृत पत्रकार जीवित हो गया और उसने इस पूरे घटनाक्रम के पीछे की प्लानिंग को उजागर किया।
झूठ थी पत्रकार के मौत की खबर
रूस के पत्रकार अरकाडी बाबचें को 2017 से यूक्रने में रह रहे थे। वो राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की नीतियों के आलोचक रहे हैं और उन्होंने एक साल पहले अपनी जान पर ख़तरा बताते हुए रूस छोड़ दिया था।रूसी सरकार के खिलाफ लगातार खबरें लिखते रहने की वजह से वह काफी दिनों से पुतिन समर्थकों के निशाने पर थे। बाबचेंको का आरोप है कि रूस ने उनको मारने का प्लान बनाया था। कुछ मीडिया खबरों में दावा किया गया था कि रूस ने एक यूक्रेनियन नागरिक को पत्रकार अरकाडी बाबचेंको को मारने के लिए चालीस हज़ार डॉलर देने का प्रस्ताव रखा है। यूक्रेन की सुरक्षा एजेंसियों को इस बात की जानकारी मिलने पर पत्रकार की मौत का झूठा स्वांग रचा गया। यूक्रेन सेक्युरिटी सर्विस ने बुधवार को मीडिया को बताया कि बताया कि इस पत्रकार के मौत की झूठी खबर एक सीक्रेट मिशन के लिए फैलाई गई थी।
पत्रकार ने मांगी माफी
बुधवार को पत्रकार अरकाडी बाबचेंको ने प्रेस कॉन्फ्रेस कर हर किसी को हैरान कर दिया। उन्होंने कहा कि इस ऑपरेशन की सलाह उन्हें यूक्रेन सुरक्षा एजेंसियों ने दी थी। अरकाडी बाबचेंको ने कहा कि यूक्रेन की सुरक्षा एजेंसियों से उनकी बात हुई थी और एक महीना पहले इस झूठी मर्डर मिस्त्री को प्लान किया गया था। अरकाडी बाबचेंको ने अपनी मौत की झूठी खबर को लेकर अपने परिवारजनों और दोस्तों से माफी मांगी है।
क्या है रूसी प्रतिक्रिया
रूसी विदेश मंत्रालय ने इस पूरे घटनाक्रम पर हैरानी जताई है। विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता ने पूरे घटनाक्रम को प्रोपेगैंडा फैलाने वाला नाटक बताया है। उन्होंने कहा है कि उन्हें बाबचेंको के ज़िंदा होने की ख़ुशी है लेकिन उनके आरोप पूरी तरह निराधार हैं। इस घटना के बाद अब यूक्रेन ने बाबचेंको और उनके परिवार को सुरक्षा देने का प्रस्ताव किया हैं।

Published on:
31 May 2018 11:07 am
बड़ी खबरें
View Allविश्व की अन्य खबरें
विदेश
ट्रेंडिंग
