scriptMaharashtra: बच्चों की पढ़ाई के लिए सांगली के गांव की अनूठी पहल, रात 7 से 8:30 बजे तक टीवी-मोबाइल के इस्तेमाल पर रोक | Maharashtra Sangli News Wadgaon village banned use of TV-mobile phones from 7 to 8:30 pm for children's education | Patrika News

Maharashtra: बच्चों की पढ़ाई के लिए सांगली के गांव की अनूठी पहल, रात 7 से 8:30 बजे तक टीवी-मोबाइल के इस्तेमाल पर रोक

locationमुंबईPublished: Sep 21, 2022 11:02:35 am

Submitted by:

Dinesh Dubey

Sangli News: महाराष्ट्र के एक गांव ने बच्चों की पढ़ाई के लिए बड़ा कदम उठाया है। दरअसल आज हर किसी के घर में यह समस्या हो गई है कि बच्चे रात में टीवी और मोबाइल फोन के कारण ठीक से पढ़ते नहीं हैं।

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बच्चों की पढ़ाई के लिए डेढ़ घंटे के लिए टीवी, मोबाइल फोन बंद

Maharashtra Sangli News: महाराष्ट्र के एक गांव ने बच्चों की पढ़ाई के लिए बड़ा कदम उठाया है। दरअसल आज हर किसी के घर में यह समस्या हो गई है कि बच्चे रात में टीवी और मोबाइल फोन के कारण ठीक से पढ़ते नहीं हैं। यह समस्या सांगली जिले के कडेगाव तालुका के वडगाव गांव के निवासियों को भी परेशान कर रही थी।
सांगली के इस गांव के नागरिकों ने इसका हल ढूंढ निकाला है। इसके तहत रोज रात 7 से 8:30 बजे तक घर में टीवी और फोन स्विच ऑफ करने का फैसला लिया गया है। इस निर्णय का पालन हर ग्रामीण करें, इस बात को सुनिश्चित करने के लिए गांव में मंदिर पर लाउडस्पीकर भी लगाया गया है।
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घर में टीवी और स्मार्टफोन के ज्यादा इस्तेमाल का सीधा असर बच्चों की पढ़ाई पर पड़ रहा है। यही कारण है कि कडेगाव तालुका में 3 हजार 105 की आबादी वाले गांव ने बच्चों की पढ़ाई के खातिर पहले चर्चा की और फिर यह फैसला लिया। रात के सात से साढ़े आठ घंटे की इस अवधि को ग्रामीणों ने सर्वसम्मति से तय किया और 15 अगस्त से इसका क्रियान्वयन भी शुरू हो गया।
लोगों को इस गतिविधि की याद दिलाने के लिए ग्राम पंचायत के पास मंदिर पर एक माइक लगाया गया है। गांव में प्राथमिक विद्यालय में 130 बच्चे और माध्यमिक विद्यालय में 450 बच्चे पढ़ रहे हैं। गांव की आंगनबाडी कार्यकर्ता, शिक्षक, ग्राम पंचायत सदस्य रोज यह सुनिश्चित करते है कि रात 7 से 8:30 के बीच बच्चे घर से बाहर न दिखें और ग्रामीण टीवी चालू न करें।
गांव के एक छात्र ने बताता कि स्कूल के बाद वह थोड़ा खेलते हैं। उसके बाद रात 7 बजे माता-पिता घर में टीवी और मोबाइल फोन बंद कर देते हैं। इस गतिविधि ने उनकी पढ़ाई को मजेदार बना दिया है। एक अन्य छात्र ने कहा, “शुरुआत में हम टीवी देखकर पढ़ाई करते थे, इसलिए हम कई गलतियां करते थे। लेकिन अब हम अनुशासित हो गए हैं।”
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