
नागपुर हिंसा (Nagpur Violence) के बाद औरंगजेब की कब्र को लेकर चल रहे विवाद पर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) की तरफ से बड़ा बयान आया है। आरएसएस के अखिल भारतीय प्रचार प्रमुख सुनील आंबेकर ने बुधवार को कहा कि किसी भी प्रकार की हिंसा समाज के लिए हानिकारक है। उन्होंने नागपुर में सोमवार को हुई हिंसा की निंदा की. इस दौरान आंबेकर ने इस बात पर भी जोर दिया कि 17वीं सदी का मुगल शासक औरंगजेब आज के समय में प्रासंगिक नहीं है।
आरएसएस प्रवक्ता सुनील आंबेकर ने नागपुर हिंसा पर संघ के रुख से जुड़े एक सवाल के जवाब में कहा, "किसी भी प्रकार की हिंसा समाज के लिए अच्छी नहीं है और मुझे लगता है कि पुलिस ने इसका संज्ञान लिया है और इसलिए वह इसकी विस्तृत जांच करेंगी।’’
बेंगलुरु में प्रेस वार्ता में जब उनसे औरंगजेब की कब्र को दूसरी जगह स्थापित करने के बारे में पूछा गया, तो उन्होंने संक्षिप्त जवाब दिया, "नहीं, यह प्रासंगिक नहीं है।"
आरएसएस की इस भूमिका पर कांग्रेस और एनसीपी (शरद पवार गुट) ने भी सहमति जताई। कांग्रेस नेता अतुल लोंढे ने कहा कि अगर संघ ने यह रुख अपनाया है, तो यह सही निर्णय है, क्योंकि देश के सामने रोजगार, बेरोजगारी और आर्थिक मुद्दे जैसे बड़े सवाल हैं। उन्होंने कहा कि वर्तमान स्थिति में देश को किसी भी प्रकार के आंदोलन और अशांति में नहीं पड़ना चाहिए। नागपुर में हुई हिंसा को लेकर उन्होंने कहा कि इस घटना से नागपुर की छवि धूमिल हुई है।
वहीँ, एनसीपी (एसपी) के नेता जितेंद्र आव्हाड ने भी इस पर प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि "हम आरएसएस की विचारधारा के विरोध में हैं, लेकिन औरंगजेब जैसे मुद्दों को उठाकर दंगे भड़काना गलत है। यदि संघ ने यह स्पष्ट किया है कि यह मुद्दा प्रासंगिक नहीं है, तो यह एक उचित कदम है और इसका स्वागत किया जाना चाहिए।"
इस बीच, महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने बुधवार को महाराष्ट्र विधानपरिषद में कहा, "नागपुर हिंसा मामले में जांच चल रही है और अब शहर में शांति है। पिछले कई सालों से यहां कोई दंगा नहीं हुआ है। कुछ लोगों ने यह हिंसा जानबूझकर फैलाई है...अफवाह जानबूझकर फैलाई गई। पुलिस दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई कर रही है।"
Published on:
19 Mar 2025 07:48 pm
बड़ी खबरें
View Allमुंबई
महाराष्ट्र न्यूज़
ट्रेंडिंग
