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PM मोदी को पद पर रहने का अधिकार नहीं, उन्होंने देश के साथ विश्वासघात किया: संजय राउत

Sanjay Raut on India Pakistan Ceasefire : संजय राउत ने कहा कि जब पाकिस्तान को कड़ा सबक सिखाने का मौका आया था तो सीजफायर क्यों किया गया। इससे देश और सेना का मनोबल टूटा है। डोनाल्ड ट्रंप भारत के मामले में बोलने वाले कौन होते है।

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मुंबई

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Dinesh Dubey

May 11, 2025

Sanjay Raut on India and Pakistan ceasefire

भारत और पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव (India Pakistan Tension) के बीच अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने मध्यस्थता कर दोनों देशों के बीच सीजफायर की घोषणा करवाई। इसकी जानकारी ट्रंप ने खुद सोशल मीडिया के जरिए दी। हालांकि, इस पर देश की सियासत गरमा गयी है। इसको लेकर शिवसेना (उद्धव ठाकरे) सांसद संजय राउत ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर जोरदार हमला बोला है।

पाकिस्तान से सीजफायर (युद्धविराम) करने पर संजय राउत ने तीखी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा, पहलगाम हमले में महिलाओं-बहनों का सुहाग उजाड़ने वाले छह आतंकी कहा है? जब तक उनका खात्मा नहीं होता तब तक ऑपरेशन सिंदूर पूरा नहीं हो सकता। पाकिस्तान को करारा जवाब देने का मौका आया था तो सीजफायर क्यों किया गया, डोनाल्ड ट्रंप भारत के मामले में बोलने वाले कौन होते है? 1971 में अमेरिका के दबाव के बावजूद इंदिरा गांधी ने पाकिस्तान से युद्ध लड़ा और उसके दो टुकड़े किए। जबकि अब की मोदी सरकार ने पाकिस्तान से सीजफायर कर लिया। पीएम मोदी का इस्तीफा मांगा जाना चाहिए, उन्हें पद पर रहने का अधिकारी नहीं है, उन्होंने देश के साथ विश्वासघात किया है।

ट्रंप को मध्यस्थता का अधिकार किसने दिया?

संजय राउत ने सवाल उठाया कि ट्रंप को भारत-पाक मुद्दे में हस्तक्षेप करने का अधिकार किसने दिया? उन्होंने कहा, “भारत 140 करोड़ की आबादी वाला एक महान, स्वतंत्र और आत्मनिर्भर राष्ट्र है। ऐसे में ट्रंप ऐलान करते हैं कि मैंने भारत-पाकिस्तान में संघर्ष विराम करवा दिया? किस आधार पर? किस शर्त पर?”

राउत ने तंज कसते हुए कहा कि जब रूस-यूक्रेन युद्ध में मोदी सरकार ने प्रचार किया था कि पापा जी ने युद्ध रुकवा दिया, तो क्या अब अमेरिका के पापाजी ने भारत-पाक युद्ध रुकवाया है?

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राउत ने पूछा कि भारत ने आखिर किन शर्तों पर सीजफायर किया? उन्होंने सरकार से जवाब मांगते हुए कहा, “जब पाकिस्तान के खिलाफ सख्त कार्रवाई की बात की जा रही थी, तब अचानक पीछे क्यों हट गए? जब भारतीय सेना का मनोबल चरम पर था, तब अचानक यह कदम क्यों उठाया गया? पाकिस्तान को छोड़ेंगे नहीं कहा था, टुकड़े-टुकड़े कर देंगे, क्या पाकिस्तान के टुकड़े-टुकड़े हो गए?”

उन्होंने आगे कहा, ऐसे समय में जब पाकिस्तान को कड़ा सबक सिखाने का अवसर था और भारतीय सेना का मनोबल अपने चरम पर था, तो देश के शीर्ष नेतृत्व ने अचानक युद्धविराम क्यों किया। इससे देश और सेना का मनोबल टूटा है। ट्रंप को इस मामले से क्या लेना-देना है? वह कौन है हमारे मामले में बोलने वाले?

देश का अपमान हुआ- राउत

संजय राउत ने कहा कि इस संघर्ष विराम से देश के शहीदों और पुलवामा में मारे गए 26 माताओं-बहनों के सिंदूर का अपमान हुआ है। जब देश ने एक निर्णायक मोड़ पकड़ लिया था, तब अमेरिकी राष्ट्रपति ट्रंप की मध्यस्थता के नाम पर युद्ध रोक देना सही नहीं है। किसके दबाव में और क्यों यह फैसला लिया गया? इससे भारत की प्रतिष्ठा को आघात पहुंचा है।

'क्या भारत का कोई दोस्त नहीं है'

उद्धव गुट के वरिष्ठ नेता संजय राउत ने आरोप लगाया कि ट्रंप के मामले में हस्तक्षेप से भारत सरकार किसे बचा रही है? पाकिस्तान या अपने लाडले उद्योगपतियों को? भारत के लिए ट्रंप वास्तव में कौन है? नुकसान तो भारत को हुआ है। उससे दूसरे देश के प्रमुख को क्या लेनादेना है। ट्रंप ने गाजा और इजराइल युद्ध क्यों नहीं रुकवाया? तब तो वो पूरी तरह इजराइल के साथ खड़े थे। लेकिन भारत के साथ नहीं। ट्रंप ने कहा कि उनके भारत और पाक दोनों देशों के साथ अच्छे संबंध हैं। मोदी जी दुनिया भर में घूम आए, उनके शीर्ष नेताओं को गले लगाया, लेकिन बताएं अब भारत का सच्चा मित्र कौन है? पाकिस्तान के खिलाफ जंग में भारत के साथ कौन सा देश खुलकर खड़ा था, नाम बताएं?”

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सर्वदलीय बैठक बुलाने की मांग

संजय राउत ने तत्काल इस पूरे मामले पर सर्वदलीय बैठक बुलाने की मांग की है और कहा है कि इस बैठक में प्रधानमंत्री मोदी को खुद शामिल होना चाहिए और देश को जवाब देना चाहिए कि किन कारणों से सीजफायर का ऐलान किया गया।