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विभागीय योजनाओं की क्रियान्विति में नागौर जिले का कृषि विभाग प्रदेश में पहले स्थान पर

नागौर कृषि विभाग के अधिकारियों ने 83.37 प्रतिशत किया अचिवमेंट, प्रदेश के कई बड़े जिलों को पछाड़ा

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Agriculture meeting

नागौर. राजस्थान सरकार के कृषि विभाग की ओर से किसानों के लिए चलाई गई जनकल्याणकारी योजनाओं व उप योजनाओं की वित्तीय वर्ष 2024-25 में प्रगति सबसे अधिक नागौर जिले में रही है। कृषि आयुक्तालय के आयुक्त कृषि सुरेश कुमार ओला ने वित्तीय वर्ष 2024-25 की भौतिक एवं वित्तीय प्रगति जारी की, जिसमें नागौर जिला 83.37 प्रतिशत के साथ पहले स्थान पर है।

आयुक्त ओला ने प्रदेश के सभी संयुक्त निदेशकों के नाम पत्र जारी कर बताया कि वित्तीय वर्ष 2024-25 में विभागीय योजनाओं, उप योजनाओं, गतिविधियों की भौतिक एवं वित्तीय प्रगति यथा डीबीटी स्कीम, वित्तीय प्रगति और अन्य गतिविधियों के आधार पर निकाली गई जिलेवार रैंक में नागौर प्रथम स्थान पर है। दूसरे स्थान पर भीलवाड़ा व तीसरे स्थान पर टोंक जिला रहा है। आयुक्त ओला ने नीचे से 10 स्थान पर रहे जिलों को आगामी वर्ष में ठोस कार्ययोजना बनाकर प्रगति सुधारने के निर्देश दिए हैं।

सबके सहयोग से मिली सफलता

नागौर कृषि विभाग के संयुक्त निदेशक हरीश मेहरा ने बताया कि जिला कलक्टर अरुण कुमार पुरोहित के मार्गदर्शन एवं नियमित मॉनिटरिंग से नागौर की प्रदेश में पहली रैंक आई है। उन्होंने बताया कि विभागीय योजनाओं एवं उप योजनाओं का मीडिया व अन्य माध्यमों से पर्याप्त प्रचार प्रसार कर पात्र किसानों को लाभान्वित किया। इसके लिए विभाग के अधिकारियों एवं कर्मचारियों ने भी पूरी लगन एवं मेहनत से काम किया, जिसके परिणामस्वरूप यह सफलता प्राप्त की है। उन्होंने बताया कि इस रैंक को इस वर्ष भी जारी रखने के लिए अभी से कार्य शुरू कर दिया है।

दिव्यांगजन प्रमाण पत्र के लिए स्वावलम्बन पोर्टल पर आवेदन जरूरी

नागौर. सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग ने दिव्यांगजन के लिए विभिन्न सामाजिक सुरक्षा योजनाओं का लाभ लेने के लिए यूडीआईडी कार्ड आवश्यक कर दिया है। विभाग के उपनिदेशक किशनारामलोल ने बताया कि पहले दिव्यांगजन पंजीयन पोर्टल पर दिव्यांगता प्रमाण-पत्र प्राप्त करने के लिए आवेदन किया जाता था। अनेक दिव्यांगजन की ओर से इस पोर्टल पर आवेदन करने के बाद चिकित्सकीय जांच के लिए अपनी उपस्थिति सुनिश्चित नहीं करने से उन्हें वापस सिस्टम जनरेट संदेश भेजकर उपस्थित होने के लिए सूचित किया गया, फिर भी उनके उपस्थित नहीं होने पर उनके आवेदन होल्ड पर चले गए और उनका दिव्यांगजन प्रमाण-पत्र जारी नहीं हो सका।

उन्होंने बताया कि एक मार्च 2024 से दिव्यांगता प्रमाण-पत्र के लिए स्वावलम्बन पोर्टल पर आवेदन करना जरूरी कर दिया गया है। अतः जिले में ऐसे दिव्यांगजन जिनका यूडीआईडी कार्ड नहीं बना है, वे स्वावलम्बन पोर्टल पर अपना पंजीकरण करवाकर उसका प्रिंट लेकर पंडित जवाहरलाल नेहरू अस्पताल, नागौर में अपना चिकित्सकीय प्रमाणीकरण करवाकर उनकी की ओर से दिए गए प्रमाण-पत्र को पोर्टल पर अपलोड कराएं, ताकि मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थय अधिकारी प्रमाणीकरण कर प्रमाण-पत्र (यूडीआईडी कार्ड) जारी कर सकें। इस कार्ड के अभाव में दिव्यांगों को मिलने वाली सुविधाएं बंद हो सकती हैं।

नागौर में रोजगार सहायता शिविर 28 को

नागौर. कौशल नियोजन एवं उद्यमिता विभाग के निर्देशानुसार जिले में युवाओं को रोजगार, स्वरोजगार, कौशल प्रशिक्षण के बेहतर अवसरों का लाभ देने के लिए 28 मई को टाउन हॉल में रोजगार सहायता शिविर का आयोजन किया जाएगा। जिला कलक्टर अरुण कुमार पुरोहित ने विभिन्न अधिकारियों को जिम्मेदारी देकर अधिकाधिक युवाओं को लाभान्वित करने के निर्देश दिए हैं।