
राहुल चौहान@Patrika.com
नोएडा। कोरोना वायरस की दूसरी लहर ने भारत में तबाही मचाई हुई है। हर रोज लाखों लोग संक्रमित हो रहे हैं। वहीं हजारों की संख्या में लोगों की मौत हो रही है। इस वर्ष लोगों के सामने ऑक्सीजन की कमी सबसे बड़ी समस्या बनकर उभरी है। इस बीच शहर की नर्सरियों में पेड़ पौधों का स्टॉक लगभग खत्म हो गया है। कारण, कोरोना संक्रमण के चलते ऑक्सीजन देने वाले पेड़-पौधों की मांग तेजी से बढ़ी है। इसके साथ ही इनके दाम भी अब आसमान पर पहुंच गए हैं। वहीं पिछले वर्ष कोरोना काल के दौरान लोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने वाले पौधों को खरीद रहे थे।
दरअसल, गौतमबुद्ध नगर में लगभग 400 छोटी व बड़ी नर्सरी हैं। लोग नर्सरियों में ऐसे पेड़-पौधों की डिमांड कर रहे हैं जो वातावरण में अधिक प्राणवायु छोड़ते हैं। घरों में जगह की कमी व घर में वातावरण के साथ ही खूबसूरती बढ़ाने के लिए इंडोर पौधों की डिमांड अधिक है। इनमें पीस लिली, संसेवेरिया, चामेडोरिया पाम, मनी प्लांट, एग्लोनेमा, कैलेथिया, स्नेक प्लांट, एरिका व सिफोटिया पाम आदि पौधे शामिल हैं। इसके अलावा विदेशों से आने वाले तरह-तरह के पेड़-पौधों भी लोगों को खूब पसंद कर रहे हैं। नर्सरी संचालकों का कहना है कि पहले इन पेड़ पौधों की इतनी मांग नहीं थी, लेकिन अचानक से डिमांग बढ़ी है।
डिमांड बढ़ी तो रेट में आया उछाल
नोएडा के सेक्टर-135 स्थित गार्डन हाउस नर्सरी के मालिक दुर्गेश चौहान बताते हैं कि अप्रैल माह से कोरोना वायरस के केस अधिक संख्या में सामने आ रहे हैं। तभी से पेड़-पौधों की डिमांड लगभग दोगुना हो गई है। लोग ऑक्सीजन देने वाले इंडोर प्लांट्स की अधिक मांग कर रहे हैं। इसके अलावा बोनसाई, फिकस व बोनसाई विकस पौधों की भी मांग बढ़ी है। पिछले कुछ समय से नाइट कर्फ्यू व लॉकडाउन के कारण सप्लाई पर काफी प्रभाव पड़ा है। जिससे पौधों के दाम भी बढ़ गए हैं।
वातावरण के लिए फेफड़ों का काम करते हैं पौधे
चौधरी चरण सिंह यूनिवर्सिटी की बॉटनिक प्रोफेसर डॉ सुधा गर्ग बताती हैं कि पौधे वातावरण के लिए फेफड़ों का काम करते हैं। ये ऑक्सीजन छोड़ते हैं और वातावरण से कार्बन डाईऑक्साइड सोख कर हवा को शुद्ध बनाते हैं। अब घरों में जगह नहीं होने के कारण लोग ऐसे इंडोर पौधों का इस्तेमाल कर सकते हैं जिन्हें न बराबर धूप की जरूरत होती है और अच्छी ऑक्सीजन देते हैं। कोरोना काल में लोगों को घरों में ही रहना चाहिए और शुद्ध हवा के लिए इंडोर पौधे एक अच्छा विकल्प है।
ये हैं पौधों के दाम
| पौधे का नाम | पहले दाम | अब दाम |
| पीस लिली | 275 | 500 |
| संसेवेरिया | 200 | 400 |
| चामेडोरिया पाम | 150 | 350 |
| मनी प्लांट | 200 | 300 |
| एग्लोनेमा | 250 | 400 |
| कैलेथिया | 250 | 450 |
Updated on:
02 May 2021 04:17 pm
Published on:
02 May 2021 03:46 pm
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