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सतबहनिया में से एक माता का ये मंदिर! झरने का सुंदर नजारा मोह लेगा आपका मन, जानिए इसकी कहानी

Balod Siyadevi Mandir: बालोद-गुरुर मार्ग पर साकरा गांव से 25 किमी. दूर नारा गांव की पहाड़ी पर सिया देवी माता का मंदिर है। यदि आप कभी यहां जाएं तो वापस लौटने की इच्छा नहीं होगी...

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सतबहनिया में से एक माता का ये मंदिर! झरने का सुंदर नजारा मोह लेगा आपका मन, जानिए इसकी कहानी

Balod Siyadevi Mandir: छत्तीसगढ़ के बालोद जिले में स्थित मां सियादेवी नारागांव एक ऐसा स्थल है, जहां प्राकृतिक सुंदरता, धार्मिक आस्था और ऐतिहासिक महत्व का अद्भुत संगम देखने को मिलता है।

सतबहनिया में से एक माता का ये मंदिर! झरने का सुंदर नजारा मोह लेगा आपका मन, जानिए इसकी कहानी

Balod Siyadevi Mandir: घने जंगलों से घिरा यह स्थान प्राकृतिक जलप्रपात, धार्मिक स्थल और पर्यटन क्षेत्र के रूप में प्रसिद्ध है। यहां प्रतिदिन सैकड़ों श्रद्धालु मां सियादेवी के दर्शन के लिए आते हैं और इस स्थान की अनुपम प्राकृतिक छटा का आनंद लेते हैं। छत्तीसगढ़ ही नहीं, बल्कि आसपास के राज्यों से भी पर्यटक यहां घूमने और आध्यात्मिक शांति का अनुभव करने के लिए पहुंचते हैं।

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Balod Siyadevi Mandir: मां सियादेवी का यह मंदिर बालोद जिले के ग्राम नारागांव के समीप स्थित है। चारों ओर फैले घने जंगल और मंदिर के समीप स्थित जलप्रपात इसे और अधिक आकर्षक बनाते हैं। बारिश के मौसम में जब जलप्रपात पूरी ताकत के साथ प्रवाहित होता है, तब इसकी गूंज दूर-दूर तक सुनाई देती है। झरने का मनमोहक दृश्य और उसके गिरने की मधुर ध्वनि हर पर्यटक को एक रोमांचकारी अनुभव प्रदान करती है। प्रकृति की गोद में बसे इस स्थल की खूबसूरती न केवल आंखो को सुकून देती है, बल्कि मन को भी शांति और आनंद से भर देती है।

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Balod Siyadevi Mandir: मां सियादेवी मंदिर की ऐतिहासिक और धार्मिक मान्यता रामायण काल से जुड़ी हुई है। मान्यता है कि वनवास के दौरान भगवान श्रीराम और लक्ष्मण, देवी सीता की खोज करते हुए इस स्थान पर आए थे।

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Balod Siyadevi Mandir: माता पार्वती ने देवी सीता के रूप में भगवान राम की परीक्षा ली, लेकिन भगवान राम ने उन्हें पहचान लिया और माँ के रूप में प्रणाम किया। इस घटना से माता पार्वती को अपराधबोध हुआ, और उन्होंने भगवान शिव से क्षमा मांगी। तब भगवान शिव ने उन्हें इसी स्थान पर माँ सियादेवी के रूप में विराजमान होने का निर्देश दिया। तभी से यह स्थल श्रद्धालुओं के लिए एक प्रमुख धार्मिक स्थान बन गया।

सतबहनिया में से एक माता का ये मंदिर! झरने का सुंदर नजारा मोह लेगा आपका मन, जानिए इसकी कहानी

Balod Siyadevi Mandir: मां सियादेवी नारागांव, आध्यात्मिक और प्राकृतिक पर्यटन के लिए एक आदर्श स्थल बन चुका है। यहां आने वाले श्रद्धालु मां सियादेवी का आशीर्वाद लेने के साथ ही इस स्थान की प्राकृतिक सुंदरता का भरपूर आनंद उठाते हैं। वर्षभर यहां पर्यटकों की आवाजाही बनी रहती है, लेकिन नवरात्रि के समय यह स्थान विशेष रूप से भक्तिमय वातावरण से भर जाता है, जब हजारों श्रद्धालु यहाँ माता के दर्शन के लिए आते हैं।

सतबहनिया में से एक माता का ये मंदिर! झरने का सुंदर नजारा मोह लेगा आपका मन, जानिए इसकी कहानी

Balod Siyadevi Mandir: बालोद जिला प्रशासन और पर्यटन विभाग द्वारा इस स्थल को विकसित करने के लिए कई महत्वपूर्ण कार्य किए गए हैं। पर्यटकों की सुविधा के लिए सीसी सड़क, बैरिकेड्स, सीढ़ियाँ, पेयजल व्यवस्था, शौचालय, सोलर लाइट, विश्राम शेड और बैठक भवन जैसी सुविधाएँ उपलब्ध कराई गई हैं। इससे यहाँ आने वाले श्रद्धालुओं और पर्यटकों को किसी प्रकार की असुविधा नहीं होती है। माँ सियादेवी नारागांव तक पहुंचना काफी सरल है। सड़क मार्ग से रायपुर, धमतरी और बालोद से यहां आसानी से पहुंचा जा सकता है। ग्राम सांकरा से लगभग 8 किलोमीटर की दूरी तय कर ग्राम नारागांव होते हुए इस स्थल तक पहुंचा जा सकता है।