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CG Coal Scam: सस्पेंड IAS समीर विश्नोई और सूर्यकांत तिवारी को नहीं मिली राहत, EOW आज लेगी रिमांड पर..इन दिग्गजों की बढ़ी धड़कने

CG Coal Scam: EOW आज निलंबित IAS विश्नोई और कारोबारी सूर्यकांत को रिमांड पर लेगी। कोयला घोटाला मामले में दोनों जेल में बंद है।

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CG Coal Scam

CG Coal Scam: रायपुर ईओडब्ल्यू निलंबित आईएएस समीर विश्नोई और कारोबारी सूर्यकांत त्रिपाठी को गिरफ्तार करेगी। दोनों को जेल से कोर्ट में पेश करने के लिए तृतीय अपर सत्र न्यायाधीश दिलेश कुमार यादव की अदालत में बुधवार को प्रोडक्शन वारंट का आवेदन पेश किया गया है।

इस (Chhattisgarh coal Scam) आवेदन में बताया गया है कि कोल स्कैम में समीर और सूर्यकांत की अहम भूमिका है। इस घोटाले में 11 आरोपियों को गिरफ्तार कर 222 करोड़ रुपए की चल-अचल संपत्तियां अटैच की गई है।

CG Coal Scam: सूर्यकांत तिवारी ने अपने रसूख का इस्तेमाल करते हुए राज्य सेवा की निलंबित अधिकारी सौम्या चौरसिया, निलंबित आईएएस एवं तत्कालीन कोरबा कलेक्टर रानू साहू के साथ मिलकर 25 रुपए प्रति टन अवैध वसूली की गई। अदालत में पेश करने पर समीर और सूर्यकांत को गिरफ्तार कर पूछताछ के लिए रिमांड पर लेने का आवेदन लगाया जाएगा। इसकी स्वीकृति मिलने पर समीर और सूर्यकांत को पहले से रिमांड पर लिए गए निलंबित आईएएस रानू साहू और राज्य सेवा की निलंबित अधिकारी सौम्या चौरसिया के सामने बिठाकर पूछताछ होगी।

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CG Coal Scam: इन दिग्गज नेताओं का बढ़ा टेंशन

कोयला घोटाले को लेकर छत्तीसगढ़ के सियासी गलियारों में यह चर्चा बहुत गर्म है कि इस स्कैम में बहुत जल्द कांग्रेस के कुछ दिग्गज नेताओं की गिरफ्तारी हो सकती है। इस मामले में जैसे जैसे केस आगे बढ़ेगा इसमें जुड़े नेता एक एक कर इसके गिरफ्त में आते जाएगें। इसमें कांग्रेस नेता देवेंद्र यादव, आरपी सिंह जैसे दिग्गजों की धड़कने बढ़ने लगी हैं।

36 करोड़ की लेवी लेने का आरोप

CG Coal Scam: ईओडब्ल्यू ने अपने आवेदन में बताया है कि सौम्या चौरसिया को सूर्यकांत तिवारी द्वारा अपने रिश्तेदार मनीष उपाध्याय एवं जय नामक व्यक्ति के जरिए 36 करोड़ पहुंचाए गए। यह राशि अवैध लेवी से जरिए एकत्रित की गई थी। वहीं रानू साहू ने सिडिंकेट से जुडे़ सूर्यकांत और उनके सहयोगियों द्वारा कोल कारोबारी एवं ट्रांसपोर्टरों से अवैध वसूली करने में मदद की। इसके बदले रिश्वत की रकम अपने भाई पीयूष साहू के माध्यम से बैंकों एवं अपने परिजनों के नाम पर चल-अचल संपत्तियों की खरीदी की। इन सभी के संबंध में पूछताछ होगी।

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