
घटिया ग्लब्स के उपयोग पर बैन (Photo source- Patrika)
CG Hospital: आंबेडकर समेत प्रदेश के सभी अस्पतालों में सप्लाई घटिया ग्लब्स को खपाने के लिए सीजीएमएससी के अधिकारियों का नया खेल सामने आया है। आंबेडकर अस्पताल प्रबंधन ने इसकी शिकायत मार्च में की थी, लेकिन कॉर्पोरेशन ने जुलाई में घटिया ग्लब्स के उपयोग पर बैन लगाया है। यही नहीं स्टॉक भी वापस मंगवाया है। जबकि अस्पतालों में ये काफी मात्रा में खप गए हैं। ये ग्लब्स डॉक्टरों के पहनते-पहनते फट रहे हैं। यही नहीं छोटे-छोटे पाउडर के बुरादे भी गिरते हैं। इससे ऑपरेशन करने वाले डॉक्टरों की समस्या बढ़ गई थी। अनोंदिता हैल्थ केयर नोयडा उत्तरप्रदेश ने ग्लब्स की सप्लाई की थी।
इधर प्रबंधन उदासीन बना रहा और विभाग के लिखित में पत्र के बाद सीजीएमएससी से शिकायत की गई। कार्डियक सर्जरी, कार्डियोलॉजी, जनरल सर्जरी, ऑर्थोपीडिक, ईएनटी, ऑप्थेलमोलॉजी, आंको सर्जरी, न्यूरो सर्जरी, प्लास्टिक सर्जरी, पीडियाट्रिक सर्जरी के डॉक्टर यही ग्लब्स पहनकर मरीजों का ऑपरेशन कर रहे थे। इससे सर्जिकल विभाग के डॉक्टरों की परेशानी बढ़ गई थी। डॉक्टरों के अनुसार ये पाउडर ब्लड में जाने पर कोई भी मरीज इंफेक्शन का शिकार हो सकता है। शिकायत के बाद भी सीजीएमएससी ने न सप्लायर के खिलाफ कार्रवाई की और न ही घटिया ग्लब्स वापस मंगावाए। अब जाकर ग्लब्स वापस मंगाए गए।
‘पत्रिका’ के पास अस्पताल प्रबंधन को लिखा एक विभाग का पत्र है, जिसमें ग्लब्स को अति घटिया बताया गया है। पत्र में कहा गया है कि डिस्पोजेबल लेटेक्स सर्जिकल ग्लब्स नंबर 7.5, जिनका बैच नंबर एएम240707जी, ग्लब्स नंबर 7, बैच नंबर एएम240707जी, ग्लब्स नंबर 6.5, बैच नंबर एएम240702जी खराब है। अस्पताल प्रबंधन ने जब ग्लब्स की शिकायत की तो सीजीएमएससी ने बैच नंबर मांगा था। बैच नंबर मार्च में ही भेज दिया गया था। इसके बाद भी सप्लायर कंपनी के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई है। ग्लब्स को लेकर डॉक्टरों ने पहले भी शिकायतें की हैं।
सर्जिकल विभाग के डॉक्टरों की कोई भी सर्जरी बिना ग्लब्स के नहीं हो सकती। अगर ग्लब्स घटिया हो तो डॉक्टरों व मरीजों पर रिस्क बढ़ जाता है। कई बार सर्जरी के दौरान मरीज का ब्लड डॉक्टर के हाथों में आ जाता है। अगर कोई एचआईवी का मरीज है तो इससे रिस्क बढ़ सकता है। हालांकि सर्जरी के पहले मरीजों की एचआईवी जांच होती है, लेकिन कौन सी रिपोर्ट सही है या गलत, इसमें संदेह हो सकता है। कुछ डॉक्टर रिपोर्ट पर संदेह जताते हुए निजी लैब में ब्लड की जांच करवाते हैं।
CG Hospital: ‘पत्रिका’ ने इस मामले को प्रमुखता से उठाया, लेकिन घटिया ग्लब्स खपाने के चक्कर में दवा कॉर्पोरेशन के अधिकारी देर से जागे। पत्रिका ने 27 अप्रैल के अंक में पहनते-पहनते फट रहे ग्लब्स, इतना घटिया कि गिरते हैं पाउडर के बुरादे तथा 10 जून के अंक में आंबेडकर अस्पताल में अधीक्षक भी घटिया ग्लब्स पहनकर करते हैं ऑपरेशन शीर्षक से समाचार प्रकाशित किया था। जबकि कुछ डॉक्टरों ने पिछले साल अक्टूबर में दिवाली के पहने मौखिक रूप से अस्पताल प्रबंधन से घटिया ग्लब्स की शिकायत की थी।
Published on:
11 Jul 2025 09:35 am
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