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Nursing seat dispute: नर्सिंग सीट विवाद ने पकड़ा तूल, मेडिकल एजुकेशन विभाग ने कसा शिकंजा

Nursing seat dispute: B.Sc नर्सिंग सीटों को लेकर आईएनसी और छत्तीसगढ़ नर्सिंग काउंसिल के आंकड़ों में भिन्नता। मेडिकल एजुकेशन कमिश्नर ने रजिस्ट्रार से जवाब मांगा।

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नर्सिंग काउंसिल में सीटों को लेकर विवाद (Photo source- Patrika)

नर्सिंग काउंसिल में सीटों को लेकर विवाद (Photo source- Patrika)

Nursing seat dispute: बीएससी नर्सिंग की सीटों को लेकर चिकित्सा शिक्षा विभाग व छत्तीसगढ़ नर्सिंग काउंसिल आमने-सामने आ गया है। सीट संबंधी इंडियन नर्सिंग काउंसिल (आईएनसी) व छत्तीसगढ़ नर्सिंग काउंसिल (सीजीएनसी) के आंकड़ों में भिन्नता पर मेडिकल एजुकेशन कमिश्नर ने रजिस्ट्रार से जवाब मांगा था। पत्र में कहा था कि आखिर मान्यता वाली सीटों में भिन्नता क्यों है? इसका जवाब रजिस्ट्रार ने यह कहते हुए देने से इनकार कर दिया है कि सवाल स्पेसिफिक नहीं है।

Nursing seat dispute: अनुमोदन के लिए कोई प्रावधान नहीं

जून के पहले सप्ताह में अचानक स्टेट नर्सिंग काउंसिल चिकित्सा शिक्षा विभाग से स्वास्थ्य विभाग के अधीन हो गया। इसके बाद चिकित्सा शिक्षा विभाग व काउंसिल के बीच घमासान मचा हुआ है। रजिस्ट्रार की रिपोर्टिंग पहले डीएमई को थी, अब हैल्थ डायरेक्टर को हो गई है। जबकि इसकी जानकारी न डीएमई को थी और न कमिश्नर को। कमिश्नर ने रजिस्ट्रार को लिखे पत्र में कहा था कि आखिर आईएनसी व सीजीएनसी के आंकड़ों में भिन्नता क्यों है? इससे छात्रों में कंफ्यूजन की स्थिति है।

रजिस्ट्रार ने जवाब में लिखा है कि नर्सिंग कॉलेजों की सीट संख्या में भिन्नता किस कॉलेज से संबंधित है, स्पष्ट नहीं होने के कारण तत्काल जानकारी उपलब्ध कराने में कठिनाई हो रही है। कृपया नर्सिंग कॉलेजों की सूची जिसमें सीट भिन्नता है, उपलब्ध कराने का कष्ट करेंगे। क्योंकि वर्तमान में जीएनएम की वार्षिक परीक्षा 15 सितंबर से जारी है। कॉलेजों का निरीक्षण टीम करती है। निरीक्षण रिपोर्ट परिषद की बैठक में रखी जाती है। इसके बाद नर्सिंग काउंसिल अध्यक्ष से अनुमोदन लिया जाता है। फिर कॉलेजों को मान्यता दी जाती है। इसका राज्य शासन से अनुमोदन के लिए कोई प्रावधान नहीं है। जवाब की कॉपी पत्रिका के पास है।

जिस नर्सिंग कॉलेज का आवेदन रिजेक्ट, उसे भी मान्यता दे दी

आईएनसी ने अभनपुर के सीजी इंस्टीट्यूट ऑफ नर्सिंग सोनी मल्टी स्पेशलिटी अस्पताल अभनपुर के आवेदन को मार्च में रिजेक्ट कर दिया था। आईएनसी का कहना था कि बीएससी नर्सिंग कॉलेज की स्थापना के लिए सरकार का आदेश नहीं है। मुख्य अस्पताल अर्थात सोनी मल्टी स्पेशलिटी अस्पताल व मेटरनिटी होम ने कोलंबिया कॉलेज ऑफ नर्सिंग व नर्सिंग कॉलेज मॉडर्न मेडिकल इंस्टीट्यूट को संबद्धता प्रदान की है।

इसलिए आईएनसी की वेबसाइट पर प्रदर्शित अधिसूचना के अनुसार मूल अस्पताल की परिभाषा गलत है। इसलिए संस्थान को एक हलफनामा अपलोड करना होगा। इसमें कोलंबिया व एमएमआई नर्सिंग कॉलेजों को लिखकर देना होगा कि 2025-26 में छात्रों को सोनी मल्टी स्पेशलिटी व मेटरनिटी होम में नहीं भेजा जाएगा। यह पत्र आईएनसी की सेक्रेटरी डॉ. सर्वजीत कौर ने जारी किया था।

नए सत्र के लिए 7221 सीटों को दी मान्यता

Nursing seat dispute: स्टेट नर्सिंग काउंसिल ने नए सत्र के लिए 120 कॉलेजों की 7221 सीटों को मान्यता दी है। हालांकि सूची को लेकर विवाद भी है। आईएनसी से रिजेक्ट कॉलेज को किस आधार पर मान्यता दी गई है, काउंसिल के बाद कोई जवाब नहीं है। कॉलेजों को देरी से मान्यता देने के कारण प्रदेश में एडमिशन के लिए काउंसलिंग अब तक शुरू नहीं हो पाई है। जबकि सितंबर निकलने वाला है। इससे छात्रों की चिंता बढ़ गई है। नया सेशन भी देरी से शुरू होगा।