Onion prices: मौसम की मार ने किसानों के साथ-साथ आम लोगों की चिंता बढ़ा दी है। टमाटर के बाद अब प्याज के दाम बढ़ने के आसार हैं। बारिश का पानी लगने से बड़ी मात्रा में प्याज खराब हो रहा है। आगामी 10-15 दिनों में रसोई में प्याज रखना थोड़ा मुश्किल हो सकता है।
मंडी का रजिस्टर बता रहा है कि पिछले माह 278020 कट्टे प्याज आया था, जबकि इस माह 26 जून तक 565574 कट्टे नीलाम हो चुके हैं। गांवों में फसल पकते समय जहां प्याज में पानी लगा, वहां 12-15 प्रतिशत प्याज खराब हो गया है। इस डर ने भी किसानों को मंडी की तरफ मोड़ दिया है। पिछले माह की तुलना में इस महीने डेढ़ गुना अधिक प्याज मंडी में आ चुका है।
मंडी प्रभारी सचिव राजेंद्र व्यास का कहना है कि प्याज के भाव 562 से 3160 रुपए तक पहुंच गए हैं, वहीं औसत भाव 1985 के करीब चल रहे हैं। मंडी व्यापारियों का मानना है कि यही स्थिति रही तो आगामी माह में प्याज 40-50 रुपए किलो तक भी पहुंच सकते हैं, क्योंकि खेरची बाजार में ही प्याज के भाव 35-40 रुपए किलो तक पहुंच गए हैं। प्याज व्यापारी प्रकाश जाधव का मानना है कि अच्छा प्याज 30-31 रुपए है।
बदनारा के किसान महेश पाटीदार का कहना है प्याज खराब होने का मुख्य कारण तो बारिश ही है। जब फसल पकी और हार्वेस्टिंग कर उसे गोदामों में रखा, तब भी बारिश हो रही थी। जहां भी प्याज में पानी उतर गया, वह सूख ही नहीं पाया। इसके बाद सात-आठ दिन की तेज गर्मी से अब खराब होने की स्थिति में पहुंच गया है।
मंडी में 5 से 30 रुपए किलो भाव मिल भी रहे हैं। मांग रही तो भाव में और तेजी आ सकती है। बाजनखेड़ा के किसान लालाशंकर पाटीदार ने बताया कि तीन ट्राली प्याज खेत में ही फेंका है, क्योंकि बारिश के बाद गर्मी के कारण खराब होने लगा है।
रिंगनिया के किसान जयप्रकाश पाटीदार का मानना है कि पकी फसल में पानी लगने के बाद बारिश में प्याज 12-15%तक खराब हो रहा है। इसे अधिक समय तक संभाला नहीं जा सकता।
Published on:
27 Jun 2024 01:42 pm