
भोपाल। माघ माह के कृष्ण पक्ष में आने वाली अमावस्या को माघ अमावस्या या मौनी अमावस्या (Mauni Amavasya 2023) कहा जाता है। इस दिन मौन रहकर दान और स्नान करने का विशेष महत्व बताया गया है। शास्त्रों के मुताबिक मुंह से ईश्वर का जाप करने से ज्यादा पुण्य तब मिलता है, जब मौन रहकर ईश्वर का जाप किया जाए। माना जाता है कि मौनी अमावस्या (Mauni Amavasya 2023) के दिन मनु ऋषि का जन्म हुआ था और मनु शब्द से ही मौनी की उत्पत्ति मानी गई है। इस साल मौनी अमावस्या 21 जनवरी को पड़ रही है। वहीं इस दिन शनिवार पड़ रहा है। इसलिए यह शनिश्चरी मौनी अमावस्या (Mauni Amavasya 2023) भी है। इस लेख (Mauni Amavasya 2023) में पत्रिका.कॉम आपको बता रहा है कि मौनी अमावस्या तिथि और इस दिन कौन सी गलतियां करने से बचना चाहिए...?
सुबह जल्दी उठें, देर तक न सोएं
मौनी अमावस्या (Mauni Amavasya 2023) के दिन देर तक न सोएं बल्कि सुबह जल्दी उठें। अमावस्या के दिन सुबह जल्दी उठकर स्नान करने की परंपरा है। अगर आप किसी पवित्र नदी में स्नान नहीं कर पाए हंै, तो घर पर जरूर स्नान कर लें। स्नान करने के बाद सूर्य अघ्र्य देना न भूलें। (Mauni Amavasya 2023) यहां आपको ध्यान रखना होगा कि जागने के बाद मौन रहें कुछ न बोलें स्नान करने और सूर्य के अघ्र्य देने के तक मौन रहें।
श्मशान के आसपास न जाएं (Mauni Amavasya 2023)
अमावस्या की रात सबसे घनी काली रात होती है और माना जाता है कि इस समय बुरी आत्माएं या शक्तियां बहुत सक्रिय हो जाती हैं। अमावस्या पर श्मशान घाट या कब्रिस्तान न जाएं, यहां तक कि इन जगहों के आस-पास घूमने से भी बचें।
घर में शांति बनाए रखें (Mauni Amavasya 2023)
अमावस्या के दिन घर में शांति का माहौल होना चाहिए। आज के दिन जिस घर में कलह का माहौल होता है, माना जाता है कि ऐसे घरों में वहां पितरों की कृपा नहीं होती है।
लड़ाई-झगड़े से बचें (Mauni Amavasya 2023)
आज के दिन लड़ाई-झगड़े और वाद-विवाद से दूर रहना चाहिए। इस दिन कड़वे वचन या अपशब्द नहीं बोलने चाहिएं।
इस अमावस्या पर न करें पीपल की पूजा (Mauni Amavasya 2023)
अमावस्या के दिन पीपल की पूजा करने से शुभ फल की प्राप्ति होती है। लेकिन शनिवार के अलावा अन्य दिन पीपल का स्पर्श नहीं करना चाहिए। इस साल मौनी अमावस्या 21 जनवरी को शनिवार के दिन पड़ रही है, ऐसे में इस दिन पीपल की पूजा न करें।
मांस-मदिरा का सेवन करने से बचें (Mauni Amavasya 2023)
मौनी अमावस्या के दिन शराब, मांस के सेवन इत्यादि से दूर रहें और सादा भोजन करें। ज्यादा से ज्यादा समय तक मौन रहकर ध्यान लगाते रहें। ईश्वर का स्मरण करते रहें।
ब्रह्मचर्य का पालन करें (Mauni Amavasya 2023)
अमावस्या पर संयम बरतना चाहिए। इस दिन स्त्री-पुरुष को ब्रह्मचर्य का पालन करना चाहिए। गरुण पुराण के अनुसार, अमावस्या पर यौन संबंध बनाने से पैदा होने वाली संतान को आजीवन सुख नहीं मिलता है।
यहां पढ़ें मौनी अमावस्या की तिथि
अमावस्या तिथि प्रारम्भ- सोमवार, जनवरी 31, 2022 को दोपहर 02 बजकर 18 मिनट
अमावस्या तिथि समाप्त - मंगलवार, फरवरी 01, 2022 को सुबह 11 बजकर 15 मिनट पर
मौनी अमावस्या पर स्नान और दान- मंगलवार, फरवरी 01 को सुबह 11.15 बजे तक
Updated on:
12 Jan 2023 11:39 am
Published on:
12 Jan 2023 11:38 am
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