
ngue outbreak sidhi district cases weather change rain (Photo- Freepik)
Dengue Outbreak: मच्छरों के काटने से होने वाली प्राणघातक बीमारी डेंगू को लेकर सतर्क रहने की आवश्यकता है। मौसम में बदलाव (weather change) और बारिश के बाद बढ़ी नमी ने मच्छरों के प्रजनन के लिए फिर अनुकूल माहौल तैयार कर दिया है। सीधी जिले में डेंगू के मामले लगातार बढ़ रहे हैं। पिछले माह जहां 12 नए मरीज सामने आए थे, वहीं इस माह अब तक छह नए मामले दर्ज किए गए हैं। वर्ष की शुरुआत से लैकर अब तक कुल 29 लोग डेंगू की चपेट में आ चुके हैं। इनमें अधिकतर मरीज कस्बाई अंचल के हैं।
स्वास्थ्य विभाग के अनुसार, डेंगू सकमित पाए गए कई लोग ऐसे हैं जो लंबे समय से जिले के बाहर रह रहे थे और बीमार होने पर इलाज के लिए सीधी लौटे थे। जांच के दौरान उनमें डेंगू की पुष्टि हुई। विभाग का कहना है कि फिलहाल जिले में स्थिति नियंत्रण में है, लेकिन लोगों को सतर्कता बरतने की आवश्यकता है। (MP News)
डेंगू वायरस मुय रूप से एडीज एजिप्टी प्रजाति के मादा मच्छरों के काटने से फैलता है। यह मच्छर दिन के समय काटता है और साफ पानी में पनपता है। संक्रमण के बाद डेंगू के लक्षण 2 से 7 दिन में दिखाई देते हैं। अधिकांश मरीज एक सप्ताह के भीतर ठीक हो जाते हैं, लेकिन जिनमें प्लेटलेट्स तेजी से गिरते हैं, उन्हें विशेष चिकित्सकीय निगरानी की आवश्यकता होती है।
जिला मलेरिया अधिकारी हरिओम सिंह के अनुसार, डेंगू के शुरुआती लक्षण अक्सर लू जैसे होते हैं। संक्रमित मच्छर के काटने के 4 से 10 दिन बाद लक्षण उभरते हैं जैसे तेज बुखार, सिरदर्द, मांसपेशियों व जोड़ों में दर्द, जी मचलाना, उल्टी, आंखों के पीछे दर्द और त्वचा पर लाल चकत्ते। ऐसे लक्षण दिखने पर तुरंत जांच और चिकित्सकीय परामर्श जरुरी है।
बारिश के बाद बैक्टीरियल और वायरल संक्रमण के साथ-साथ मच्छर जनित बीमारियों का खतरा बढ़ गया है। डेंगू किसी भी उम्र के व्यक्ति को प्रभावित कर सकता है, बच्चे से लेकर बुजुर्ग तक सभी इसकी चपेट में आ सकते हैं। इसमें तेज बुखार, सिरदर्द और प्लेटलेट्स की कमी जैसी दिक्कतें देखने को मिलती हैं। समय पर इलाज न मिलने पर यह स्थिति जानलेवा बन जाती है।
मलेरिया विभाग के अनुसार, वर्ष 2023 में 54 मरीज डेंगू पॉजिटिव पाए गए थे, जबकि 2024 में 38 मिले। इस वर्ष अब तक 29 मरीज मिले हैं। विशेषज्ञों का कहना है कि सितंबर और अक्टूबर के महीनों में डेंगू के मच्छरों का प्रकोप सबसे अधिक होता है, इसलिए इन दिनों विशेष सावधानी जरूरी है।
पानी की खुली टंकियां, बेकार पड़े टायर, टूटे बर्तन, गड्ढे और अन्य स्थान जहां साफ पानी जमा रहता है, वहां एडीज मच्छर अंडे देता है। सात दिनों के भीतर अंडे लार्वा बन जाते हैं और यही मच्छर डेंगू, चिकनगुनिया व मलेरिया फैलाते हैं। गंदे पानी में पनपने वाला क्यूलेक्स मच्छर फाइलेरिया का कारण बनता है। (MP News)
जिले में जनवरी से अब तक 29 लोग डेंगू पॉजिटिव आ चुके हैं। इनमें 90 फीसदी पिछले तीन महीनों के हैं। इससे बचाव का सबसे बड़ा उपाय लार्वा विनष्टीकरण है, जिसे लोग आसानी से कर सकते हैं। हरिओम सिंह, जिला मलेरिया अधिकारी सीधी
रामपुर नैकिन 09
सेमरिया 11
मझौली 01
कुसमी 00
सिहावल 07
सीधी अर्बन 01
कुल 29
Published on:
29 Oct 2025 01:47 pm
बड़ी खबरें
View Allसीधी
मध्य प्रदेश न्यूज़
ट्रेंडिंग
