सिसकते-सिसकते सरकार पर उठाए सवाल
हादसे में बच गई विभा प्रजापति के जेहन में अब भी घटना की याद ताजा है। इस हादसे में अपने भाई को खो चुकी विभा को तैरना नहीं आता है, लेकिन स्थानीय ग्रामीणों ने उसे बचा लिया। इस हादसे के लिए उसने बस ड्राइवर को जिम्मेदार ठहराया है और सरकार पर भी गंभीर सवाल उठाए हैं। अस्पताल में इलाज रत विभा ने फफक फफक कर बताया कि उसका परीक्षा केन्द्र सतना जिले के आदित्य कॉलेज में था। जहां परीक्षा देने के लिए वह अपने भाई के साथ निकली थी। कई और लड़कियां थी जो परीक्षा देने जा रही थीं। उसने कहा कि जो परीक्षा सतना में हो सकती है वह सीधी में भी तो हो सकती थी। आखिर सरकार सीधी को परीक्षा केन्द्र क्यों नहीं बनाती। अगर सीधी परीक्षा केन्द्र होता तो यह हादसा न होता। इस हादसे की दोषी सरकार भी है।
हादसा ड्राइवर की लापरवाही- विभा
विभा ने बताया कि चालक बहुत तेज गति से बस दौड़ा रहा था। स्थिति यह थी कि छुहिया घाटी से ही बस की स्पीड इतनी तेज थी कि लोग कई बार डर कर चिल्ला भी रहे थे। विभा और उसके साथ मौजूद अन्य लोगों ने यह भी कहा कि चालक ने तो गोविन्दगढ़ में ही एक बार कह दिया था कि जान बचानी हो तो बचाओ। तब मतलब नहीं समझ आया था अन्यथा उतर गए होते। बता दें कि मंगलवार की सुबह करीब साढ़े सात बजे बघवार के पास बाणसागर बांध की कैनाल में यात्रियों से भरी बस गिर गई थी। बस में करीब 54 यात्री सवार थे जिनमें से 42 के शव बरामद कर लिए गए हैं और सात लोगों ने किसी तरह तैरकर अपनी जान बचा ली थी। कुछ लोगों के नहर में बहने की भी संभावना है जिनकी तलाश की जा रही है।