SURAT EDUCATION : भारत को सिंगल यूज प्लास्टिक मुक्त करने का प्रयास सूरत से
सामाजिक और शैक्षणिक रूप से पिछड़े वर्ग के विद्यार्थियों को शैक्षणिक रूप से मजबूत करने के लिए गुजरात सरकार ने सहायता करने का निर्णय किया है। इसके भाग रूप 10वीं बोर्ड पास करके 11वीं विज्ञान वर्ग में प्रवेश पाने वाले विद्यार्थी को सहायता की जाएगी। यह सहायता हासिल करने के लिए 10वीं में विद्यार्थी के 70 प्रतिशत से अधिक अंक होने चाहिए। 11वीं के लिए 15 हजार और 12वीं में आने पर 15 हजार रुपए दिए जाएंगे। यह निजी ट्यूशन क्लास के लिए सहायता की जाएगी। इसके लिए विद्यार्थी को डिजिटल गुजरात पोर्टल पर ऑनलाइन आवेदन करना होगा।
सामाजिक और शैक्षणिक रूप से पिछड़े वर्ग के विद्यार्थियों को शैक्षणिक रूप से मजबूत करने के लिए गुजरात सरकार ने सहायता करने का निर्णय किया है। इसके भाग रूप 10वीं बोर्ड पास करके 11वीं विज्ञान वर्ग में प्रवेश पाने वाले विद्यार्थी को सहायता की जाएगी। यह सहायता हासिल करने के लिए 10वीं में विद्यार्थी के 70 प्रतिशत से अधिक अंक होने चाहिए। 11वीं के लिए 15 हजार और 12वीं में आने पर 15 हजार रुपए दिए जाएंगे। यह निजी ट्यूशन क्लास के लिए सहायता की जाएगी। इसके लिए विद्यार्थी को डिजिटल गुजरात पोर्टल पर ऑनलाइन आवेदन करना होगा।
SURAT VNSGU : सरकारी आदेश का वीएनएसजीयू में हो रहा उल्लंघन..! – विज्ञान वर्ग की फीस छूती है आसमान
विज्ञान वर्ग में ऊंचे अंक लाने के लिए सभी विद्यार्थी ट्यूशन क्लास के भरोसे रहते हैं। 11वीं से ही 12वीं की तैयारी शुरू हो जाती है। इसलिए विद्यार्थी को 40 हजार से 80 हजार तक ट्यूशन फीस चुकानी पड़ती है। अलग-अलग विषय की अलग-अलग ट्यूशन फीस है। 12वीं में अच्छे अंक आने पर ही विद्यार्थी को मनपसंद पाठ्यक्रम में प्रवेश मिल सकता है।
विज्ञान वर्ग में ऊंचे अंक लाने के लिए सभी विद्यार्थी ट्यूशन क्लास के भरोसे रहते हैं। 11वीं से ही 12वीं की तैयारी शुरू हो जाती है। इसलिए विद्यार्थी को 40 हजार से 80 हजार तक ट्यूशन फीस चुकानी पड़ती है। अलग-अलग विषय की अलग-अलग ट्यूशन फीस है। 12वीं में अच्छे अंक आने पर ही विद्यार्थी को मनपसंद पाठ्यक्रम में प्रवेश मिल सकता है।
SURAT EDUCATION : विद्यार्थियों की सुरक्षा को लेकर गंभीरता नहीं..! साइंस वाले ज्यादातर विद्यार्थियों का सपना एमबीबीएस में प्रवेश लेना होता है। इसके लिए सभी विद्यार्थियों के बीच कड़ी स्पर्धा होती है। एक-एक अंक कीमती होती है। इसलिए स्कूल के साथ ट्यूशन में भी विद्यार्थी मेहनत करते हैं। सामाजिक और शैक्षणिक रूप से पिछड़े वर्ग के विद्यार्थी किसी से पीछे नहीं रह जाएं, इस उद्देश्य से यह सहायता करने का तय किया गया है। शिक्षा विभाग ने सभी स्कूलों को इस सुविधा के बारे में विद्यार्थियों को अवगत करवाने का आदेश दिया है।