
उदयपुर . गोवद्र्धनविलास थाना क्षेत्र के नेला गांव में खाली पड़े एक भूखंड में लापता फौजी का शव दबा होने की सूचना पर पुलिस ने गुरुवार सुबह वहां खोदी की तो उसमें एक पालतू श्वान का कंकाल मिला। इस दौरान पुलिस के साथ ही सेना के अधिकारी व कर्मचारी भी मौके पर मौजूद रहे। इधर, गत 18 दिन से लापता फौजी का कोई सुराग नहीं मिला।
परिजन अब भी उदयपुर में डेरा डालकर दर-दर भटक रहे हैं, वहीं पुलिस भी काफी प्रयास कर चुकी है। सीआई रवीन्द्र चारण ने बताया कि नेला में एक निजी स्कूल के निकट एक खाली पड़े भूखंड में कंकाल होने की किसी ने बुधवार रात को सेना के अधिकारियों व पुलिस को सूचना दी। छावनी से देर रात टीम के साथ ही पुलिस से मौके पर पहुंच गई। गड्डे में से सिर का पिछला हिस्सा बाहर निकला होने से फौजी का ही शव होने की शंका जाहिर की गई। पुलिस ने देर रात को उस स्थल को सुरक्षित करते हुए सुबह एफएसएल टीम को सूचना दी। पुलिस ने मिट्टी खोदकर बाहर निकाली तो अंदर से श्वान का शव निकला। पुलिस ने उसे वापस दफन कर आवश्यक कार्रवाई की।
इधर, फौजी का अब तक नहीं चला पता
एकलिंगगढ़ छावनी में तैनात 12वीं राज राइफल बटालियन के जवान महरोली श्रीमाधोपुर (सीकर) निवासी विक्रमसिंह पुत्र भंवरसिंह का अभी तक पता नहीं चला। 18 दिन से परिजन, सेना व पुलिस उसे ढूंढ़ रहे हैं। अब तक सभी ने जिले में मिले समस्त अज्ञात शवों को देखने के साथ ही जवान के लापता होने के स्थान सहित कई मार्गों के किनारे लगे सीसीटीवी कैमरे के फुटेज खंगाले लेकिन अब तक पता नहीं चला।
परिजन व पुलिस को अब तक जवान के गोवर्धन विलास क्षेत्र में एक गली से गायब होने एवं एक निजी चिकित्सालय में मरहम-पट्टी करवाने से अधिक जानकारी हासिल नहीं कर पाए हैं। गौरतलब है कि विक्रमसिंह 29 अक्टूबर को शाम करीब 7.30 बजे अपने सरकारी आवास से बाइक पर यूनिट में जाने की बात कहकर निकला था, लेकिन वह रात 11 बजे तक नहीं लौटा। पत्नी पूनम कंवर ने आसपास से पूछताछ के साथ ही यूनिट्स से संपर्क किया तो उसके गेट से बाहर जाने का पता चला लेकिन वह अब तक नहीं मिला।
Published on:
17 Nov 2017 02:17 am
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