
mp news: मध्यप्रदेश में रिश्वतखोर अधिकारी-कर्मचारियों पर कार्रवाई का सिलसिला लगातार जारी है। लगभग हर दूसरे दिन कहीं न कहीं लोकायुक्त रिश्वतखोर अधिकारी-कर्मचारियों को रिश्वत लेते हुए रंगेहाथों पकड़ रही है लेकिन इसके बावजूद रिश्वतखोर बाज आते नजर नहीं आ रहे हैं। ताजा मामला मध्यप्रदेश के विदिशा जिले का है जहां रिश्वतखोरों को तो लोकायुक्त ने पकड़ा ही है साथ ही इस कार्रवाई से रिश्वतखोरी की वो चेन भी उजागर कर दी है जो गांव से लेकर जनपद कार्यालय तक बनी हुई थी।
विदिशा जिले के ग्यारसपुर के अंतर्गत बोरी रामपुर गांव के सचिव गिरवर सिंह यादव, जनपद पंचायत के रीडर सुरेश शर्मा और कंप्यूटर ऑपरेटर गोवर्धन कुशवाह को बुधवार को लोकायुक्त भोपाल की टीम ने 5 हजार रुपए की रिश्वत लेते हुए पकड़ा है। रिश्वत खोरों की इस टोली ने खेरूआ पड़रात गांव के रहने वाले हिम्मत सिंह लोधी से 10 हजार रुपए रिश्वत की मांग की थी। आवेदक हिम्मत सिंह ने बताया कि उसके चाचा की मृत्यु हो चुकी है और उनकी मृत्यु के बाद श्रमिक की मृत्यु पर शासन की ओर से 2 लाख रुपयों की सहायता राशि चाचा की पत्नी के खाते मे प्राप्त भी हो गई थ। लेकिन इसी राशि के आने के बाद से सचिव गिरवर सिंह उन पर 10 हजार रुपए रिश्वत देने का आरोप लगा रहा था।
आवेदक हिम्मत सिंह के मुताबिक सचिव गिरवर सिंह ये रिश्वत कंप्यूटर ऑपरेटर सुरेश शर्मा के नाम पर मांग रहा था जो कि ग्यारसपुर जनपद पंचायत में पदस्थ है। इसकी शिकायत उसने भोपाल लोकायुक्त कार्यालय में की थी। जिसके बाद बुधवार 13 नवंबर को लोकायुक्त टीम ने विदिशा मंडी के मैन गेट पर सचिव गिरवर सिंह को 5 हजार रुपए की रिश्वत लेते हुए और रंगे हाथों पकड़ा। इसके बाद जब गिरवर सिंह रिश्वत के रूपए बाबू सुरेश शर्मा को जनपद कार्यालय में देने के लिए गया तो उसने कंप्यूर ऑपरेटर गोवर्धन कुशवाह को पैसे देने के लिए कहा। जैसे ही गोवर्धन ने रिश्वत के रूपए लिए तो लोकायुक्त ने उसे भी पकड़ लिया।
Updated on:
16 Nov 2024 10:07 pm
Published on:
13 Nov 2024 06:56 pm
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