
Earthquake
Earthquake : जापान के समंदर में नानकाई घाटी से महाभूकंप ( Megaquake) आ सकता है। इससे बड़े पैमाने पर सुनामी आएगी, जिससे लाखों लोगों की जान जा सकती है। ये महाभूकंप किसी भी दिन आ सकता है।
जापान में हाल ही में एक 7.1 तीव्रता का भूकंप (Earthquake ) आया। इसके बाद जापान की सरकार ने एक महाभूकंप (Megaquake) की चेतावनी दी है। ये किसी भी समय आ सकता है। यानी समंदर के अंदर मौजूद नानकाई घाटी (Nankai Trough) से ये भूकंप पैदा होगा.।इससे कोशी, ओसाका, नागोया जैसे बड़े इलाके प्रभावित होंगे।
इस महाभूकंप की तुलना 2011 में आए भूकंप और सुनामी से की जा रही है, लेकिन ये इससे ज्यादा भयानक हो सकता है। क्योंकि ये भूकंप 8 से 9 तीव्रता या उससे ज्यादा ज्यादा रिक्टर पैमाने का हो सकता है। इससे लाखों लोगों के मारे जाने की आशंका है। अरबों-खरबों का नुकसान हो सकता है। ये चेतावनी जापान मेटरियोलॉजिकल एसोसिएशन(JMA) ने जारी की है।
उल्लेखनीय है कि 1 जनवरी 2024 को, 16:10 JST पर, जापान के इशिकावा प्रान्त के नोटो प्रायद्वीप पर स्थित सुजु से 7 किमी उत्तर-उत्तर पश्चिम में MJMA7.6 भूकंप आया था। रिवर्स-फॉल्टिंग शॉक ने शिंदो 7 की अधिकतम JMA भूकंपीय तीव्रता और IX की संशोधित मर्कल्ली तीव्रता दर्ज की थी।
ध्यान रहे कि 8 अगस्त 2024 को दक्षिणी जापान में 7.1 तीव्रता का भूकंप आने के बाद, देश की मौसम विज्ञान एजेंसी ने अपनी पहली "महाभूकंप एडवाइजरी" जारी की है। चेतावनी में कहा गया है कि जापान के दक्षिण-पश्चिमी प्रशांत तट के साथ एक सबडक्शन ज़ोन (ऐसा क्षेत्र जहाँ टेक्टोनिक प्लेटें एक-दूसरे से टकराती हैं और भारी प्लेट दूसरे के नीचे खिसक जाती है) नानकाई ट्रफ़ पर तेज़ झटकों और बड़ी सुनामी की संभावना सामान्य से ज़्यादा है।
दअरसल नानकाई ट्रफ़ एक अंडरवाटर सबडक्शन ज़ोन (लगभग 900 किमी लंबा) है जहाँ यूरेशियन प्लेट फ़िलीपीन सी प्लेट से टकराती है, जिससे बाद वाली प्लेट फ़िलीपीन सी प्लेट के नीचे और पृथ्वी के मेंटल में चली जाती है। इससे टेक्टोनिक तनाव जमा होता है जो एक महाभूकंप का कारण बन सकता है रिक्टर पैमाने पर- 8 से अधिक तीव्रता वाला भूकंप।
नेचर जर्नल में प्रकाशित 2023 के अध्ययन, 'नानकाई मेगाथ्रस्ट भूकंपों की लगातार घटना की उच्च संभावना' के अनुसार, गर्त ने लगभग हर 100 से 150 वर्षों में बड़े भूकंप उत्पन्न किए हैं। ये झटके आम तौर पर जोड़े में आते हैं, और दूसरा अक्सर अगले दो वर्षों में फट जाता है - सबसे हालिया "जुड़वां" भूकंप 1944 और 1946 में आए थे।
विशेष रूप से, यूनाइटेड स्टेट्स जियोलॉजिकल सर्वे के अनुसार, गुरुवार को 7.1 तीव्रता का भूकंप नानकाई गर्त पर या उसके पास आया था। नतीजतन, विशेषज्ञों को चिंता है कि गर्त के साथ अगला झटका विनाशकारी हो सकता है। नानकाई गर्त के साथ अगला महाभूकंप कब आ सकता है? जापान की भूकंप अनुसंधान समिति ने कहा कि गर्त के साथ अगला 8-9 तीव्रता का महाभूकंप अगले 30 वर्षों के भीतर आने की लगभग 70% संभावना है।
जानकारी के अनुसार ऐसा महाभूकंप टोक्यो से लगभग 150 किमी दक्षिण में मध्य शिज़ुओका से लेकर दक्षिण-पश्चिमी मियाज़ाकी तक के क्षेत्रों में कंपन पैदा कर सकता है। भूकंप के कुछ ही मिनटों बाद जापान के प्रशांत तटों पर 98 फ़ीट तक की सुनामी लहरें पहुँच सकती हैं।
निक्केई एशिया पत्रिका की एक रिपोर्ट के अनुसार, 2013 की एक सरकारी रिपोर्ट में पाया गया कि एक बड़ा नानकाई गर्त भूकंप जापान के लगभग एक तिहाई हिस्से को प्रभावित कर सकता है और जहाँ देश की लगभग आधी आबादी यानी 120 मिलियन से अधिक लोग रहते हैं। इस आपदा के कारण होने वाली आर्थिक क्षति 1.50 ट्रिलियन डॉलर या जापान के वार्षिक सकल घरेलू उत्पाद के एक तिहाई से भी अधिक हो सकती है।
Updated on:
17 Aug 2024 05:59 pm
Published on:
12 Aug 2024 12:04 pm
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