त्योहार

Chaitra Tyohar: चैत्र महीने में हुई थी सृष्टि रचना की शुरुआत, आते हैं चैत्र नवरात्रि समेत कई बड़े व्रत त्योहार, देखें लिस्ट

Chaitra Tyohar: हिंदू पंचांग के अनुसार चैत्र महीना तीज-त्योहार बेहद खास है, इसी महीने होली आती है, हिंदू नववर्ष शुरू हो जाता है। इस महीने ही ब्रह्मा जी ने सृष्टि रचना शुरू की थी और भगवान विष्णु ने मत्स्य अवतार लिया था। आइये जानते हैं इस महीने कौन-कौन से व्रत त्योहार हैं।

2 min read
Mar 10, 2025
Chaitra Tyohar: चैत्र त्योहार 2025

Chaitra Maas Ke Tyohar: चैत्र महीना 15 मार्च से शुरू होगा, इस महीने में सूर्य अपनी उच्च राशि में होता है और इसी महीने में वसंत का मौसम होता है। चैत्र के 15 दिनों बाद शुक्ल पक्ष में 30 मार्च को हिंदू नववर्ष शुरू होगा। इसके अलावा कई और व्रत त्योहार पड़ते हैं। आइये जानते हैं चैत्र महीने में पड़ने वाले व्रत त्योहार कौन से हैं और चैत्र का महत्व क्या है।

ये भी पढ़ें

चिता की राख से धुंधला हो जाता है आसमां, खेलते हैं नागा और अघोरी यहां होली, जानें Masan Holi Date, परंपरा और कहानी

ब्रह्मा जी ने की चैत्र शुक्ल प्रतिपदा में शुरू की थी सृष्टि की रचना

भविष्यवक्ता डॉ. अनीष व्यास के अनुसार सनातन काल गणना में चैत्र महीने के शुक्ल पक्ष की पहली तिथि से ही नववर्ष शुरू होता है, क्योंकि ब्रह्म और नारद पुराण के मुताबिक इसी दिन ब्रह्मा ने सृष्टि की रचना शुरू की थी। सृष्टि की रचना के करीब दो अरब साल बाद सम्राट विक्रमादित्य ने नया संवत् चलाया। ये उसी दिन से शुरू होता है जिस दिन सृष्टि बनी थी।


ब्रह्म पुराण में इस तिथि को नए संवत्सर की पूजा करने का विधान बताया गया है। तिथि और पर्व तय करने वाले ग्रंथ निर्णय सिन्धु, हेमाद्रि और धर्म सिन्धु में इस तिथि को पुण्यफलदायक कहा गया है। इस तिथि को युगादि कहा जाता है, यानी इस दिन से सतयुग की शुरुआत हुई थी।


इस विक्रम संवत में दो तरह से महीनों की गिनती होती है। महाराष्ट्र, गुजरात और दक्षिण भारत में अमावस्या खत्म होने के बाद नए महीने की शुरुआत होती है। वहीं, उत्तर भारत सहित ज्यादातर जगहों पर पूर्णिमा के अगले दिन से नया महीना शुरू होता है। इसी कारण होली के अगले दिन नया महीना तो लग जाता है लेकिन हिंदू नववर्ष महीने के 15 दिन बीतने के बाद शुरू होता है।

ये भी पढ़ेंः

चैत्र महीने में हुआ भगवान विष्णु का पहला अवतार

भविष्यवक्ता डॉ. अनीष व्यास ने बताया कि पौराणिक मान्यता अनुसार ब्रह्माजी ने चैत्र शुक्ल प्रतिपदा से ही सृष्टि की रचना शुरू की थी। इसी दिन भगवान विष्णु ने दशावतार में से पहला मत्स्य अवतार लेकर प्रलयकाल में जल में से मनु की नौका को सुरक्षित जगह पर पहुंचाया था। प्रलयकाल खत्म होने पर मनु से ही नई सृष्टि की शुरुआत हुई।

चैत्र मास व्रत-त्योहार सूची

14 मार्च 2025: होली (फागुन पूर्णिमा का अगला दिन)
15 मार्च 2025: चैत्र मास प्रारंभ
16 मार्च 2025: भाई दूज
17 मार्च 2025: भालचद्र संकष्टी चतुर्थी
19 मार्च 2025: रंग पंचमी

ये भी पढ़ेंः


21 मार्च 2025: शीतला सप्तमी
22 मार्च 2025: शीतला अष्टमी, बसोड़ा, कालाष्टमी
25 मार्च 2025: पापमोचिनी एकादशी
27 मार्च 2025: प्रदोष व्रत, मासिक शिवरात्रि
29 मार्च 2025: सूर्य ग्रहण, चैत्र अमावस्या

ये भी पढ़ेंः


30 मार्च 2025: गुड़ी पड़वा, चैत्र नवरात्रि
31 मार्च 2025: गणगौर
06 अप्रैल : रामनवमी
12 अप्रैल : चैत्र पूर्णिमा हनुमान जयंती

ये भी पढ़ें

खरमास में क्यों नहीं करते शुभ काम, जानिए डेट और महत्व

Also Read
View All

अगली खबर