
वन विभाग की बड़ी कार्रवाई (Photo source- Patrika)
CG News: वन विभाग की टीम ने अर्जुनी परिक्षेत्र में अवैध शिकार की कोशिश कर रहे दो आरोपियों को गिरफ्तार किया। एक अन्य आरोपी अभी फरार है। यह कार्रवाई वन्यजीव संरक्षण अधिनियम 1972 और वन्यजीव (संरक्षण) संशोधन अधिनियम 2022 के तहत हुई। मिली जानकारी के मुताबिक, सराईपाली परिसर के पूनमचंद फेकर को मुखबिर से सूचना मिली कि अर्जुनी से सराईपाली मार्ग (झाला ढोगी के पास) पर दो व्यक्ति मोटरसाइकिल से अवैध शिकार के बाद चीतल मांस ले जा रहे हैं।
सूचना मिलते ही गांजरडीह परिसर प्रभारी भरतलाल साहू, सुरक्षा श्रमिकों और वन अमला ने घेराबंदी कर कार्रवाई की। गिरफ्तार किए गए लोगों में भूषण प्रसाद, पिता रंजीत वर्मा, कोमलसाय, पिता कार्तिक वर्मा हैं। दोनों निवासी बिला गांव के रहने वाले हैं। उनके पास से 23.620 किलो चीतल का ताजा मांस बरामद किया गया। उनसे एक बाइक और दो मोबाइल फोन भी जब्त किए गए हैं। पूछताछ में आरोपियों ने बताया कि मांस अर्जुनी निवासी अनिल, पिता चमारसिंग बरिहा से मिला था।
वह आरोपी फिलहाल फरार है। लवन थाने में दोनों आरोपी के खिलाफ मामला दर्ज किया गया। दोनों आरोपियों को कसडोल न्यायालय में पेश कर बलौदाबाजार जेल भेज दिया गया है। वहीं, फरार आरोपी और अन्य संभावित आरोपियों की तलाश जारी है। कार्रवाई में प्रशिक्षु वन परिक्षेत्र अधिकारी डब्बू साहू, रूपेश्वरी दीवान, मीनाक्षी साहू, वनपाल भरतलाल साहू, परिसर रक्षी पूनमचंद फेकर, वनरक्षक प्रवीण कुमार आडिले, दिनेश कर्ष की भूमिका रही।
गौरतलब है कि बलौदाबाजार जिले में लंबे समय से वन्यजीवों का अवैध शिकार और वनों की कटाई तेज है। हालांकि मामले में वन विभाग ने कार्रवाई भी तेज की है, लेकिन क्षेत्र में हो रहे वन अपराधों की संख्या की तुलना में यह प्रयास मात्र बूंदभर है। प्रशासन को सतत निगरानी और सख्त कार्रवाई की जरूरत बनी हुई है।
गरियाबंद/पांडुका: तौरेंगा गांव में बीती रात एक गाय का तेंदुए द्वारा शिकार किए जाने की घटना सामने आई है। मादा तेंदुए ने गाय का आधा शरीर खाकर बाकी हिस्से को खेत में छोड़ दिया गया। घटना से गांव और आसपास के क्षेत्र में दहशत फैल गई है। मिली जानकारी के अनुसार, गरांव के मौलीपारा मोहल्ले से लगभग आधा किमी दूर एक किसान के खेत में ये घटना घटी। सुबह जब किसान खेत पहुंचा, तो उसने मरी हुई गाय को देखा और तुरंत ग्रामीणों को सूचना दी।
CG News: बिट गार्ड लोकेश श्रीवास को जानकारी दी गई। वन अमले ने मौके पर पहुंचकर पंचनामा तैयार किया। ग्रामीणों के अनुसार, जतमई रोड पर कुछ दिनों से 8 से 10 गायों का झुंड घूम रहा था। मरी हुई गाय भी इन्हीं में से एक थी। जांच में कोई मालिक सामने नहीं आया, इसलिए उसे छुट्टा मवेशी मानकर कार्रवाई की गई। गौरतलब है कि हाल ही में दो शावकों के साथ घूम रही मादा तेंदुआ को इस इलाके में देखा गया था।
वन विभाग का अनुमान है कि शावकों की भूख मिटाने के लिए ही मादा तेंदुआ ने यह शिकार किया। इस क्षेत्र में पहले से ही तेंदुआ, भालू, हिरण, नीलगाय और लकड़बग्घा जैसे वन्य जीवों की भरमार है। हालांकि, शिकारियों की बढ़ती गतिविधियों के कारण इनकी संख्या में कमी आई है। ग्रामीणों और वन विशेषज्ञों का मानना है कि राजधानी की ओर से आने वाले शिकारियों द्वारा हिरणों की तस्करी और शिकार अत्याधुनिक हथियारों से की जा रही है।
Published on:
26 Aug 2025 05:33 pm
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