11 दिसंबर 2025,

गुरुवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

नूरपुर उपचुनाव में इन लोगों ने मांगा सपा से टिकट

सपा अभी इस पशोपेश में फंसी है कि नूरपुर सीट से वह हिंदू कार्ड खेले या मुस्लिम।

2 min read
Google source verification
Bijnor

बिजनौर। नूरपुर निधानसभा उपचुनाव को लेकर सूबे में सियासी हलचल तेज है। उपचुनाव के दंगल के लिए आज से प्रत्याशियों का नामांकन भी शुरू हो चुका है। लेकिन अभी तक किसी भी पार्टी ने अपने पत्ते नहीं खोले हैं। वहीं फूलपुर और गोरखपुर उपचुनाव में बीजेपी को शिकस्त देने के बाद अब सपा नूरपुर में होने में होने वाले उपचुनाव में भी बीजेपी के गढ़ में सेंधमारी की तैयारी में है। लेकिन पार्टी के सामने सबसे बड़ी मुसीबत उम्मीदवार चयन को लेकर है।

यह भी पढ़ें :इस वजह से भाजपा मेयर और नगर आयुक्त में ठनी,टल गयी बोर्ड बैठक

दरअसल सपा इस उपचुनाव में भी गठबंधन के साथ मैदान में उतरने की तैयारी में है। लेकिन अभी तक प्रत्याशी पर फैसला नहीं कर पाई है। सपा अभी इस पशोपेश में फंसी है कि नूरपुर सीट से वह हिंदू कार्ड खेले या मुस्लिम। क्योंकि इस सीट से दावेदारी करने वालों की लंबी फेहरिस्त है। इतना ही नहीं सपा मुखिया और पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव भी अभी तक निर्णय नहीं ले सके हैं। नूरपुर सीट पर पिछले बार सपा से प्रत्याशी रहे नईमुलहसन, नूरपुर के पूर्व चेयरमैन इरशाद अंसारी, जिलाध्यक्ष अनिल यादव, कुंतेश सैनी, एक पूर्व मंत्री सहित कई ने प्रमुख रूप से दावेदारी की है। इसके अलावा कई दूसरे सहयोगी दलों के नेता भी अंदरखाने से अपनी दावेदारी हाईकमान के आगे पेश कर रहे हैं। जिसकी वजह से अभी तक नाम पर मुहर नहीं लग सकी है।

यह भी पढ़ें : पीएम और सीएम की चेतावनी का भी नहीं पड़ रहा असर, इस काम के लिए भी सरकारी कर्माचारी ने मांगे 50 हजार रिश्वत

2019 चुनाव से पहले सपा भी इन उपचुनाव में जीत की लय टूटने नहीं देना चाहती इस लिए जिताउ उम्मीदवार को ही मैदान में उतारना चाहती है। अगर सीट पर जनाधार की बात करें तो करीब तीन लाख मतदाताओं में 1 लाख 30 हजार मुस्लिम मतदाता है। जिसकी वजह से मुस्लिम दावेदारों की मजबूत दावेदारी मानी जी रही है। तो वहीं सपा के वरिष्ठ नेताओं का मानना है कि सूबे के माहौल को देखते हुए इस सीट पर हिंदू कार्ड ही सपा को जीत दिला सकती है। लेकिन हिंदू में भी ओबीसी सवर्ण के बीच पार्टी उलझी हुई है। क्योंकि मुस्लिम के अलावा ठाकुर, सैनी समेत कई अलग-अलग बिरादरियों की ओर से दावेदारी पेश की जा रही है। इस बारे में सपा जिलाध्यक्ष अनिल यादव का कहना है कि जल्द ही हाईकमान से प्रत्याशी पर फैसला हो जाएगा।

यह भी पढ़ें :जब इस आईपीएस लेडी सिंघम के दिल में जागी मां की ममता तो किया यह काम

वैसे नूरपुर सीट बीजेपी की सीट रही है और पिछले दो बार से बीजेपी के विधायक लोकेंद्र चौहान ने जीत का पताका फहराया, लेकिन सड़क हादसे में उनकी मौत के बाद सीट पर उपचुनाव हो रहा है। अब देखना होगा की सभी चुनावी समिकरण बैठाने के बाद सियासी अखाड़े में बीजेपी को टित करने के लिए सपा किसे उतारती है।

यह भी पढ़ें :आंधी के साथ बारिश होने से मौसम हुआ सुहावना, बिजली के ब्रेक डाउन से परेशान रहे


बड़ी खबरें

View All

बिजनोर

उत्तर प्रदेश

ट्रेंडिंग