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राखी से पहले घर नहीं लौट पाई 2 सगी बहनें, भीषण हादसे ने छीन ली 5 लोगों की जिंदगी, घरों में मची चीख-पुकार

2 Real Sister Died In Road Accident: हादसे में एक युवक व एक युवती की मौके पर मौत हो गई। तीन गंभीर लोगों को बाहर निकलकर टोल एंबुलेंस व निजी एम्बुलेंस से राजकीय अस्पताल दौसा भिजवाया गया।

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दौसा

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Akshita Deora

Aug 09, 2025

मृतक अर्चना मीना फाइल फोटो: पत्रिका

National Highway 21 Accident: राष्ट्रीय राजमार्ग 21पर शुक्रवार शाम कैलाई के समीप ट्रेलर ने कार को टक्कर मार दी। हादसे में कार सवार सभी पांच जनों की मौत हो गई।

पुलिस के अनुसार कार में सवार सभी युवा जयपुर में परीक्षा देकर वापस अपने घर लौट रहे थे। सिकन्दरा से जयपुर की ओर लोहे के गार्डर लेकर जा रहे ट्रेलर का टायर फटने से चालक संतुलन खो बैठा। इस दौरान कार को टक्कर मारते हुए ट्रेलर सड़क से नीचे ले गया। घटना की सूचना के बाद सिकंदरा थाना पुलिस मौके पर पहुंची और लोगों की मदद से कार में फंसे लोगों को बाहर निकाला। हादसे में एक युवक व एक युवती की मौके पर मौत हो गई। तीन गंभीर लोगों को बाहर निकलकर टोल एंबुलेंस व निजी एम्बुलेंस से राजकीय अस्पताल दौसा भिजवाया गया।

गंभीर रूप से घायल दो युवती व एक युवक को दौसा से जयपुर के लिए रैफर कर दिया गया। एसएमएस अस्पताल में तीनों को चिकित्सकों ने मृत घोषित किया। पुलिस के अनुसार हादसे में कार चला रहे कोचिंग संचालक यादराम मीना (29) पुत्र राम कल्याण, अर्चना मीना (18) पुत्री मलखान व मुकेश महावर (22) पुत्र भीमसिंह निवासी भजेड़ा तहसील टोडाभीम जिला करौली तथा दो सगी बहन मोनिका (20) व वेदिका मीना पुत्री मंटूराम निवासी खोर्री महुवा जिला दौसा की मौत हो गई। घटना से मृतकों के परिजनों का रो-रोकर हाल बेहाल हो गया। राखी पर किसी का भाई तो किसी की बहन नहीं रही। त्योहार की खुशियां गम में बदल गई।

हाईवे पर लगा जाम

घटना के बाद रक्षाबंधन त्योहार होने के कारण जयपुर की ओर से आने वाले वाहनों की लम्बी कतार लग गई। बाद में पुलिस ने काफी मशक्कत करके यातायात सुचारू कराया। मौके पर मौजूद सीओ दीपक मीणा व सिकन्दरा थाना प्रभारी अशोककुमार ने दो क्रेनों की सहायता से ट्रेलर को साइड में कराया गया।

अस्पताल में बदइंतजामी

हादसे के बाद तीन घायलों को जिला अस्पताल लाया गया, लेकिन यहां बदइंतजामी से उन्हें जूझना पड़ा। अस्पताल से ट्रॉली मैन नदारद थे तो कई स्टाफकर्मियों ने भी सहयोग नहीं किया। गार्ड, पुलिस व अन्य लोगों ने एंबुलेंस में घायलों को लेटाकर रवाना किया गया। सरकारी एंबुलेंस को ना बुलाकर प्राइवेट से भेजा गया। एम्बुलेंस भेजने में करीब 15 मिनट लग गए। लोगों ने आरोप लगाया कि जिंदगी की जंग लड़ रहे घायलों को ले जाने लापरवाही बरती गई। जयपुर में भी ट्रैफिक जाम होने के चलते देरी से अस्पताल पहुंचे।