
Treatment of obesity, diabetes, asthma, cancer
Treatment of obesity, diabetes, asthma, cancer : आजकल बदलती हुई लाइफस्टाइल के कारण मोटापा , डायबिटीज, अस्थमा और कैंसर जैसी गंभीर बीमारियां आम बात हो गई हैं। लेकिन कुछ छोटी -छोटी बातों का अगर धयान रखा जाए तो इन बीमारियों से बचा जा सकता है।
ब्लड टेस्ट बताएगा मोटापा होगा या नहीं
यूनिवर्सिटी ऑफ साउथहैम्पटन के शोधकर्ताओं ने एक नया ब्लड टेस्ट (blood test) ईजाद किया है जो बच्चों में मोटापे (besity in children) के लक्षण दिखने से काफी पहले ही इसका पूर्वानुमान लगा सकता है। डीएनए पढऩे में सक्षम यह टेस्ट 5 साल की उम्र में बच्चों की जांच कर यह बता देगा कि 14 साल की उम्र में वे मोटे होंगे या नहीं। इसका पता चलने पर माता-पिता बच्चे की डाइट और एक्टिविटी में सुधारकर उसे मोटा होने से बचा सकते हैं।
डायबिटीज कंट्रोल करेंगे स्टेम सेल्स Stem cells will control diabetes
हार्वर्ड यूनिवर्सिटी के शोधकर्ताओं ने स्टेम सेल्स (stem cells) की मदद से ऐसी तकनीक बनाई है, जिससे ऐसी कोशिकाएं निर्मित की जा सकेंगी जो शरीर में ही इंसुलिन पैदा करके डायबिटीज को नियंत्रित करेंगी। स्टेम सेल्स पर 15 वर्ष की रिसर्च के बाद ऐसी बीटा कोशिकाओं की दोबारा उत्पत्ति करने में सफलता मिली है, जिन्हें अग्नाशय में प्रत्यारोपित करने से वे इंसुलिन हार्मोन स्रावित करती हैं।
खांसी में लापरवाही दे सकती है अस्थमा Negligence in cough can give asthma
डॉक्टरों के मुताबिक फेफड़ों की नसों पर अधिक दबाव होने या दिल का एक हिस्सा बड़ा होने पर भी खांसी हो सकती है। इसे दिल का अस्थमा (asthma of the heart) कहते हैं। आमतौर पर दमा, गले में इंफेक्शन, टॉन्सिलाइटिस, फेरनजाइटिस, ब्रोंकाइटिस, फेफड़ों के इंफेक्शन (lung infection) , निमोनिया या हृदयरोग आदि की वजह से खांसी हो सकती है। इसलिए खांसी ज्यादा दिनों तक चले तो फौरन फिजिशयन से सलाह लें।
कैंसर से बचाती है ब्रोकली Broccoli protects against cancer
वैज्ञानिकों ने पाया है कि ब्रोकली (Broccoli ) में पेट के कैंसर (Stomach cancer) का कारण बनने वाले बैक्टीरिया हेलीकोबेक्टर पायलोरी को मारने की क्षमता होती है। जॉन हॉपकिंस यूनिवर्सिटी (बाल्टीमोर) एवं दी फैं्रच नेशनल साइंटिफिक रिसर्च सेंटर के विशेषज्ञों ने पाया है कि ब्रोकली में मौजूद यही कंपाउंड इसे अलग स्वाद भी देता है। वैसे हेलीकोबेक्टर इंफेक्शन (Helicobacter infection) से निजात दिलाने वाले एंटीबायोटिक्स महंगे होते हैं।
डिसक्लेमरः इस लेख में दी गई जानकारी का उद्देश्य केवल रोगों और स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के प्रति जागरूकता लाना है। यह किसी क्वालीफाइड मेडिकल ऑपिनियन का विकल्प नहीं है। इसलिए पाठकों को सलाह दी जाती है कि वह कोई भी दवा, उपचार या नुस्खे को अपनी मर्जी से ना आजमाएं बल्कि इस बारे में उस चिकित्सा पैथी से संबंधित एक्सपर्ट या डॉक्टर की सलाह जरूर ले लें।
Updated on:
02 Nov 2023 12:40 pm
Published on:
16 Jun 2023 11:10 am
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