
फाइल फोटो: पत्रिका
Rajasthan : प्रदेश कांग्रेस में संगठन सृजन अभियान अब निर्णायक मोड़ पर पहुंच गया है। अधिकांश जिलों में रायशुमारी की प्रक्रिया सोमवार तक पूरी कर ली गई, वहीं एआइसीसी के पर्यवेक्षक अपनी रिपोर्ट लेकर लौटने लगे हैं। जिलों में हुई बैठकों में दावेदारों ने चुनावी अंदाज में प्रचार किया, कई जगहों पर ‘जिलाध्यक्ष प्रत्याशी’ लिखे होर्डिंग्स तक लगाए गए।
राजस्थान के 50 जिलों में जिलाध्यक्ष बनने के लिए करीब 1500 दावेदारों ने आवेदन किए हैं। इनमें कई विधायक, पूर्व विधायक, पूर्व मंत्री और प्रदेश पदाधिकारी तक शामिल हैं। वरिष्ठ नेताओं के चहेतों को आगे लाने की होड़ ने इस बार संगठनात्मक प्रक्रिया को बेहद रोचक बना दिया है। कई बड़े नेताओं ने अपने समर्थकों के पक्ष में पूरी ताकत झोंक दी है।
इससे कई जिलों में कहासुनी और नारेबाजी तक की नौबत आ गई। वहीं चयन प्रक्रिया पर पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने सवाल तक उठाए। सूत्रों के अनुसार कई पर्यवेक्षक सोमवार शाम तक अपने-अपने जिलों से लौट गए, जबकि कुछ मंगलवार तक लौटेंगे।
जयपुर शहर जिला कांग्रेस कमेटी में सांगानेर और विद्याधर नगर विधानसभा क्षेत्रों की बैठकों में पर्यवेक्षक गिडुगु रुद्र राजू ने फीडबैक लिया। संगठन महासचिव सीताराम शर्मा नेहरू ने बताया कि इन बैठकों में जिला प्रभारी रोहित बोहरा, जिलाध्यक्ष आर.आर. तिवाड़ी, प्रदेश व ब्लॉक पदाधिकारी आदि मौजूद रहे। जयपुर में जिलाध्यक्ष पद के लिए करीब 50 आवेदन प्राप्त हुए, जिनमें से छह नामों की सूची तैयार कर रिपोर्ट राष्ट्रीय महासचिव के.सी. वेणुगोपाल को भेजी जाएगी।
पर्यवेक्षक जिलों और विधानसभा क्षेत्रों में हुई बैठकों से प्राप्त फीडबैक के आधार पर हर जिले का छह नाम का पैनल तैयार करेंगे। यह पैनल एआइसीसी में जमा कराए जाएंगे। राहुल गांधी दावेदारों के साक्षात्कार के बाद अंतिम नाम तय करेंगे।
हर जिले में दावेदारों की लंबी सूची है, लेकिन नाम की घोषणा के समय कई नाम चौंकाने वाले भी सामने आ सकते हैं। कांग्रेस सूत्रों के मुताबिक अब तक कुछ राज्यों में हुए संगठन सृजन अभियान में ऐसे चौंकाने वाले जिलाध्यक्षों के नाम सामने आ चुके हैं। जिन्हें फीडबैक के आधार पर बिना आवेदन के भी सीधे राहुल गांधी की ओर से जिलाध्यक्ष नियुक्त किया है।
Updated on:
14 Oct 2025 02:20 pm
Published on:
14 Oct 2025 02:19 pm
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