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Crop Insurance: किसान 72 घंटे में दें फसल खराबे की सूचना, तभी मिलेगा बीमा का लाभ, इन फसलों में मिलेगा मुआवजा

Crop Loss Compensation: खरीफ 2025 के अंतर्गत अधिसूचित फसलें बाजरा, मूंग, मूंगफली, ज्वार, तिल, ग्वार और चौला हैं। इन फसलों को बुवाई से लेकर कटाई तक यदि सूखा, बाढ़, ओलावृष्टि, कीट-व्याधि, बिजली गिरना या अन्य प्राकृतिक आपदाओं से नुकसान होता है, तो किसान को मुआवजा मिल सकेगा।

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जयपुर

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Rajesh Dixit

Sep 13, 2025

Crop Insurance Scheme in mp

Crop Insurance Scheme in mp (फोटो सोर्स : पत्रिका क्रिएटिव)

Pradhan Mantri Fasal Bima Yojana: जयपुर। प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना किसानों के लिए एक बड़ी राहत है, लेकिन इसका लाभ उठाने के लिए किसानों को समय पर सूचना देना बेहद जरूरी है।

संयुक्त निदेशक कृषि विस्तार, जिला परिषद जयपुर, कैलाश चंद मीणा ने बताया कि खरीफ 2025 के अंतर्गत अधिसूचित फसलें बाजरा, मूंग, मूंगफली, ज्वार, तिल, ग्वार और चौला हैं। इन फसलों को बुवाई से लेकर कटाई तक यदि सूखा, बाढ़, ओलावृष्टि, कीट-व्याधि, बिजली गिरना या अन्य प्राकृतिक आपदाओं से नुकसान होता है, तो किसान को मुआवजा मिल सकेगा।

फसल खराबे की स्थिति में किसान को 72 घंटे के भीतर ‘कृषि रक्षक पोर्टल’, हेल्पलाइन 14447, क्रॉफ इंश्योरेंस ऐप या व्हाट्सएप चैटबॉट नंबर 7065514447 पर सूचना देनी होगी। यदि कटाई के बाद खेत में सुखाने के लिए रखी गई फसलें चक्रवात, बेमौसम वर्षा या ओलावृष्टि से प्रभावित होती हैं, तो नुकसान का आकलन व्यक्तिगत स्तर पर बीमित किसान की फसल के आधार पर किया जाएगा।

जयपुर जिले में एग्रीकल्चर इंश्योरेंस कम्पनी ऑफ इंडिया लिमिटेड को खरीफ 2025 के लिए बीमा कम्पनी के रूप में अधिसूचित किया गया है। कम्पनी ने प्रत्येक तहसील स्तर पर समन्वयक नियुक्त किए हैं ताकि किसान समय पर सूचना देकर योजना का अधिकतम लाभ उठा सकें। जिला समन्वयक मगनलाल मीणा के साथ ही हर तहसील में नियुक्त समन्वयक किसानों की सहायता करेंगे।

एक नजर में योजना के बारे में

  1. किसान को फसल खराबे की सूचना 72 घंटे के भीतर देना अनिवार्य
  2. अधिसूचित फसलें: बाजरा, मूंग, मूंगफली, ज्वार, तिल, ग्वार और चौला।
  3. बुवाई से कटाई तक प्राकृतिक आपदाओं से हुए नुकसान पर मिलेगा मुआवजा।
  4. कटाई के बाद सुखाने के लिए रखी फसलें भी ओलावृष्टि या चक्रवात से प्रभावित होने पर कवर।
  5. हर तहसील स्तर पर बीमा कम्पनी ने समन्वयक नियुक्त किए हैं, किसान सीधे संपर्क कर सकते हैं।