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राजस्थान के लिए एक और अच्छी खबर, अब 263 KM दूर से आएगा यमुना का पानी, खर्च होंगे 25 हजार करोड़

Yamuna Water Sharing Pact: राजस्थान में 263 किमी दूर से यमुना का पानी लाने की तैयारी की जा रही है। ऐसे में प्रदेश के तीन जिलों को बड़ा फायदा होने वाला है।

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Yamuna Water Sharing Pact: जयपुर। पीकेसी-ईआरसीपी का मुद्दा सुलझने के बाद अब राजस्थान को एक और खुशखबरी जल्द ही मिलने वाली है। भजनलाल सरकार राजस्थान में 263 किमी दूर से यमुना का पानी लाने के प्रयास में जुटी हुई है।

यमुना का पानी प्रदेश के तीनों जिलों तक लाने की लागत करीब पांच हजार करोड़ रुपए बढ़ने का शुरुआती अनुमान लगाया गया है। जल संसाधन विभाग के आकलन में यह स्थिति सामने आई है। इस काम में अब 25 हजार करोड़ रुपए से ज्यादा खर्च होंगे।

ताजेवाला हैड से तीन अलग-अलग पाइप लाइनों के जरिए करीब 263 किलोमीटर दूरी से पानी लाया जाएगा। हरियाणा के हथिनी कुंड बैराज (ताजेवाले हैड) पर खुद का पंप हाउस (इन्टेक) बनाया जाएगा, ताकि पानी वितरण को लेकर हरियाणा पर निर्भरता नहीं रहे।

इन जिलों को होगा फायदा

यहीं से सीधे राजस्थान के चूरू, झुंझुनूं और सीकर में पानी पहुंच सकेगा। हालांकि, राजस्थान और हरियाणा की संयुक्त टास्क फोर्स डीपीआर बनाएगी, जिसमें से वास्तविक लागत और दूरी सामने आएगी।

दिल्ली में बैठक के बाद सक्रियता बढ़ी

डीपीआर के लिए अपर यमुना रिवर बोर्ड भी तकनीकी सहयोग देगा। दिल्ली में एक दिन पहले दोनों राज्य हरियाणा और राजस्थान के मुख्यमंत्री के साथ हुई बैठक के बाद केन्द्रीय जलशक्ति मंत्री सी.आर. पाटिल ने इस संबंध में निर्देश दिए थे।

राजस्थान रहा सक्रिय, हरियाणा लेटलतीफ

दोनों राज्य और केन्द्रीय जल आयोग के बीच पिछले वर्ष 17 फरवरी को दिल्ली में संयुक्त डीपीआर बनाने के लिए एमओयू हुआ था। राजस्थान ने 14 मार्च को टास्क फोर्स का गठन कर दिया। जल संसाधन विभाग ने हरियाणा सरकार को पिछले वर्ष 8 अप्रेल और फिर 5 जुलाई को टास्क फोर्स गठन करने की जरूरत जताई, लेकिन कुछ नहीं हुआ।

रेल ट्रैक के पास लाइन बिछाने पर नहीं बनी बात

पहले रेल ट्रैक के पास पाइप लाइन बिछाने पर विचार किया गया। इसके लिए रेल मंत्री को पत्र भी लिखा गया। इसके बाद कुरुक्षेत्र से हिसार और फिर हिसार से सिवानी तक संयुक्त निरीक्षण किया गया। हालांकि, इस रूट की संभावना कम है।

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यहां बनेंगे रिजरवॉयर

प्रोजेक्ट में मुय रिजरवॉयर चूरू जिले के हांसियावास में बनाएंगे। अन्य रिजरवॉयर स्थलों के चिन्हित करने का काम चल रहा है। झुंझुनूं जिले की बुहाना तहसील में भी अतिरिक्त स्टोरेज रिजरवॉयर बनाए जाएंगे। इनमें पानी एकत्र किया जाएगा।

दो चरणों में होगा काम

पहला चरण: राजस्थान के चूरू, सीकर, झुंझुनूं और अन्य क्षेत्रों में पेयजल आपूर्ति के लिए जल उपलब्ध होगा।

दूसरा चरण: चूरू जिले में 35000 हेक्टेयर और झुंझुनूं जिले में 70000 हेक्टेयर में सिंचाई के लिए पानी दिया जाएगा।

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