
पत्रिका न्यूज़ नेटवर्क/ सुनेल (झालावाड़). सोशल मीडिया के जमाने में, जहां शादी समारोह के निमंत्रण पत्र ऑनलाइन भेजे जाने लगे हैं। वहीं, झालावाड़ के सुनेल क्षेत्र में लालगांव ऐसी जगह है, जहां लोग आज भी शादी समारोह और अन्य कार्यक्रमों के निमंत्रण पत्र नीम के पेड़ पर टांग देते हैं। लोग इन्हें पढ़कर वापस वहीं टांग देते हैं।
धाकड़ मोहल्ले में श्रीराधा-कृष्ण मंदिर के समीप नीम के पेड़ पर शादी के कार्ड, भागवत कथा आदि के निमंत्रण पत्र व मृत्यु आदि की सूचनाएं लटकाई जाती हैं। गांव में ऐसा कोई भी कार्यक्रम हो तो लोग निमंत्रण पत्र नहीं छपवाते। इसी तरह से बुलावा दिया जाता है। वहीं बाहर से आने वाले निमंत्रण पत्र भी यहां एक ही कार्ड पर सभी के नाम लिखकर लटकाए जाते हैं। यह परंपरा बरसों से चली आ रही है।
पैसा और समय दोनों की बचत
लोगों का मानना है कि इस परंपरा से पैसा और समय दोनों की बचत होती है। एक ही कार्ड से पूरे गांव को निमंत्रण मिल जाता है। वहीं एक ही स्थान पर कार्ड लगाने से घर-घर जाने में लगने वाला समय भी बच जाता है।
सुबह-शाम चौपाल...
गांव में करीब 255 परिवार हैं। यहां प्रतिदिन सुबह साढ़े छह बजे से नौ बजे तक और शाम को साढ़े छह बजे से रात नौ बजे तक चौपाल लगती है। किसी के अनुपस्थित होने पर उसे घर जाकर इसकी जानकारी दे दी जाती है।
मांगीलाल धाकड़, लालगांव
युवा पीढ़ी भी मान रही
बरसों पुरानी परंपरा के तहत नीम के पेड़ पर समारोह के कार्ड लटकाए जाते हैं। इसे ही निमंत्रण माना जाता है।
जानकीलाल धाकड़, लालगांव
Published on:
11 Apr 2023 11:00 am
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