VIDEO: दिल्ली में बैठे डॉक्टर ने कटनी में बच्चे को दिया उपचार, कुपोषण को मिटाने प्रदेश में पहली बार हुआ विशेष नवाचार
- पत्रिका अभियान-कुपोषण से दूर हों बच्चे तो स्वस्थ हो बचपन के तहत हुई पहल, दिल्ली के डॉक्टर से कुपोषित बच्चे को सुपोषित करने हुआ टेलीमेडिसिन, कटनी सीएससी जिलाप्रबंधक ने पत्रिका की पहल पर शुरू किया नवाचार
- सीएससी जिलाप्रबंधक ने पत्रिका की पहल पर नवाचार शुरू किया है। डिजिटल इंडिया अभियान को मानवता से जोडऩे की एक सार्थक पहल की है। कुपोषण आज ऐसे बढ़ रहा है कि अकाल ही मासूम बच्चे काल की गोद मे समा जाते हैं।
- अगर पौष्टिक आहार के साथ-साथ समुचित इलाज की व्यवस्था हो तो इस बीमारी से बचा भी जा सकता है, लेकिन गरीबी और जानकारी के अभाव में ग्रामीण क्षेत्र के नागरिक समय पर उचित इलाज के लिए बड़े शहर और डॉक्टर से संपर्क नहीं कर पाते।
- कलेक्टर के द्वारा विभिन्न आंगनवाड़ी केंद्रों का निरीक्षण भी किया गया था, उचित निर्देश दिए गए थे।
Published: 23 Jul 2019, 11:45 AM IST
कटनी. सीएससी जिलाप्रबंधक ने पत्रिका की पहल पर नवाचार शुरू किया है। डिजिटल इंडिया अभियान को मानवता से जोडऩे की एक सार्थक पहल की है। कुपोषण आज ऐसे बढ़ रहा है कि अकाल ही मासूम बच्चे काल की गोद मे समा जाते हैं। अगर पौष्टिक आहार के साथ-साथ समुचित इलाज की व्यवस्था हो तो इस बीमारी से बचा भी जा सकता है, लेकिन गरीबी और जानकारी के अभाव में ग्रामीण क्षेत्र के नागरिक समय पर उचित इलाज के लिए बड़े शहर और डॉक्टर से संपर्क नहीं कर पाते। कलेक्टर के द्वारा विभिन्न आंगनवाड़ी केंद्रों का निरीक्षण भी किया गया था, उचित निर्देश दिए गए थे। अति कुपोषित बच्ची परी आदिवासी का झिंझरी क्षेत्र के आंगनवाड़ी में सीएससी संचालक आशीष श्रीवाश ने केंद्र में जाकर सीएससी इ गवर्नेंस के टेलीमेडिसिन सुविधा के माध्यम से बच्ची के पिता, आंगनवाड़ी कार्यकर्ता का दिल्ली स्थित डॉक्टर से टेली कंसल्टेशन कराया गया। करीब 20 मिनट तक उसका बारीकी से परीक्षण डॉक्टर द्वारा किया गया।
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क्या है सीएससी टेलीमेडिसिन
टेलीमेडिसिन डिजिटल अभियान के अंतर्गत एक प्रारूप है जिसमे ऑनलाइन दिल्ली स्थित डॉक्टरों से संपर्क किया जाता है। हितग्राही का पंजीयन कर उसकी इच्छानुसार एलोपैथी, होम्योपैथी के डॉक्टर से ऑनलाइन मात्र 30 रुपये के शुल्क में रजिस्ट्रेशन किया जाता है। ऑनलाइन वीडियो कॉलिंग के माध्यम से चर्चा की जाती है। इसमें पहले से इलाज करा रहे व्यक्ति अपनी रिपोर्ट भी डॉक्टर को प्रेषित कर सकते हैं। सम्पूर्ण परीक्षण उपरांत दिल्ली डॉक्टर की टीम वहां से दवाई और टेस्ट जरूरी है तो पर्ची भेजते हैं। जिला प्रबंधक सीएससी उपेंद्र त्रिपाठी ने बताया कि अति गंभीर केस इसमें पंजीयन नहीं होते। उनको त्वरित इलाज की आवश्यकता होती है। इसमें ग्रामीण क्षेत्र के नागरिक जिनकों शहर आने में समय और पैसे अधिक लगते हैं उनके लिए ये टेलीमेडिसिन प्रक्रिया बहुत उपयोगी साबित होगी वो किसी भी नागरिक सुविधा केंद्र में जाकर पंजीयन करवा सकते हैं और डॉक्टर से संपर्क कर सकते हैं। जरूरत होने पर ऑनलाइन दवाई भी आर्डर कर सकते हैं।
इनका कहना है
टेलीमेडिसिन के माध्यम से कुपोषित बच्चों का कंसल्टेशन आज पूरे राज्य में प्रथम जिले से प्रारम्भ हुआ है चुकी। यह एक परीक्षण प्रक्रिया थी, आने वाले दिनों में वरिष्ठ अधिकारियों से चर्चा कर हम कोसिस करेंगे कि जिले में प्रत्येक सप्ताह के सोमवार को उस क्षेत्र के नागरिक सुविधा केंद्र के संचालक अपने अपने नजदीकी आंगनवाड़ी क्षेत्र में जाकर निशुल्क टेलीमेडिसिन से डॉक्टर से संपर्क कराएंगे और परामर्श के पश्चात जो अभिभावक दवाई लेने में सक्षम हैं वो स्वयं ले ले और जो नहीं है उनके लिए सीएससी सोसायटी के माध्यम से प्रदान करने की कोशिश करेंगे।
उपेंद्र त्रिपाठी, जिला प्रबंधक सीएससी।
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