
फाइल फोटो पत्रिका
Rajasthan Good News : मध्यप्रदेश को जोड़ते हुए राजस्थान में चीता कॉरिडोर विकसित किया जाएगा। प्रदेश में यह कॉरिडोर सात जिलों को जोड़ेगा। राज्य सरकार ने कॉरिडोर विकसित करने के लिए एक कमेटी बनाई है। कमेटी ने सातों जिलों का दौरा कर कॉरिडोर के संबंध में अध्ययन कर रिपोर्ट सरकार को दी है। मध्यप्रदेश के कूनो से लेकर गांधी सागर तक विभिन्न जिलों को पार करता हुआ यह कॉरिडोर लगभग 17000 वर्ग किलोमीटर का होगा। इसमें लगभग 450 वर्ग किलोमीटर का क्षेत्र हाड़ौती का शामिल होगा। मध्यप्रदेश व राजस्थान सरकार में कॉरिडोर को लेकर एमओयू हुआ है।
चीता कॉरिडोर में हाड़ौती के जंगलों को भी शामिल किया है। भैंसरोड़गढ़ व शेरगढ़ में हम शाकाहारी वन्यजीवों की संख्या बढ़ाने के लिए एनक्लोजर बना रहे हैं, ताकि चीतों को छोड़ने पर उनके भोजन की कमी नहीं हो। एनक्लोजर बनाने के लिए बजट भी मिला है।
अनुराग भटनागर, उपवन संरक्षक, वन्यजीव मंडल, वन विभाग
राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण (एनटीसीए) की ओर से जारी एक्शन प्लान के अनुसार इस कॉरिडोर में मध्यप्रदेश, राजस्थान व उत्तरप्रदेश के कुछ क्षेत्र को शामिल करते हुए 17 हजार वर्ग किमी का कॉरिडोर बनना है। इसमें राजस्थान के कॉरिडोर का एरिया करीब 6500 किमी है, जिसमें कोटा संभाग के चारों जिलों कोटा, बूंदी, बारां और झालावाड़ के साथ सवाईमाधोपुर, करौली और चित्तौड़गढ़ जिले का रावतभाटा भी शामिल हैं। चीतों के लिए प्रे-बेस तैयार करने के लिए दो एनक्लोजर शेरगढ़ व एक एनक्लोजर भैंसरोड़गढ़ में बनाया जा रहा है।
Updated on:
09 Jul 2025 06:00 pm
Published on:
02 Jul 2025 09:26 am
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