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सीरिया से लौटे PFI एजेंटों की तलाश में वेस्ट यूपी की खाक छान रही खुफिया एजेंसियां

Highlights- नेपाल के रास्ते यूपी में घुसने के मिले इनपुट- पंचायत चुनाव में माहौल खराब करने की साजिश- पूर्वाचल में पैर जमाने के बाद अब वेस्ट में कोशिश

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मेरठ

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lokesh verma

Dec 02, 2020

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मेरठ. विदेश से लौटे पीएफआई सदस्यों की तलाश में खुफिया एजेंसियां वेस्ट यूपी के जिलों में डेरा डाले हुए है। बताया जाता है कि पीएफआई के ये सदस्य सीरिया से लौटे हैं। इनकी संख्या 12 के आसपास है। सूत्रों के अनुसार,
इन लोगों के नेपाल सीमा से यूपी में घुसपैठ करने का इनपुट मिला है। इस पर डीजीपी मुख्यालय ने एटीएस व राज्य खुफिया एजेंसी को सचेत किया है। साइबर विशेषज्ञों को भी सोशल मीडिया पर नजर रखने के लिए कहा गया है। खुफिया एजेंसी ने अंदेशा जताया है कि ये लोग पंचायत चुनाव में माहौल खराब करने की साजिश कर सकते हैं।

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पीएफआई खासतौर पर पूर्वांचल के जिलों में पैर जमाने के बाद अब वेस्ट यूपी में जड़े जमाने में मजबूती से जुटा है। इस सूचना के बाद एटीएस को अलर्ट किया गया है। इसके साथ ही वेस्ट के जिलों की अभिसूचना इकाई को अलर्ट कर दिया गया है। जिला पुलिस भी अपने स्तर से चौकसी रख रही है। बता दें कि पीएफआई का नाम हाथरस कांड के बहाने जातीय दंगा भड़काने की कोशिश में आ चुका है। इसके पहले नागरिकता संशोधन कानून और एनआरसी के विरोध में हुई हिंसा को उकसाने में भी पीएफआई की सक्रियता का पता चला था। हाथरस कांड के बाद पीएफआई से जुड़े चार लोगों को मथुरा से गिरफ्तार भी किया गया था।

हाथरस कांड के बाद वेबसाइट पर जातीय दंगे

बीते माह हाथरस में एक किशोरी के साथ सामूहिक दुष्कर्म के बाद मौत के मामले में पूरे देश में जमकर राजनीति हुई थी। कई दलों व संगठनों ने हाथरस कूच किया था। इसी दौरान एक वेबसाइट का पता चला जिसे जस्टिस फार हाथरस के नाम से बनाया गया था। इस पर जातीय दंगे भड़काने के लिए कई पेज बनाए गए थे। हालांकि, पुलिस को जानकारी होते ही वेबसाइट बंद कर दी गई थी।

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