
नई दिल्ली। पाकिस्तान में गुरु नानक की जन्मस्थली ननकाना साहिब गुरुद्वारे ( Gurudwara Nankana Sahib ) पर हुए हमले के बाद भारत में सिख समुदाय ने अपना कड़ा विरोध जताना शुरू कर दिया है।
कई सिख समूह हमले की निंदा करने के लिए शनिवार को नई दिल्ली में पाकिस्तान के उच्चायुक्त के सामने विरोध प्रदर्शन किया।
वहीं अकाली दल के नेता सुखबीर सिंह बादल ( sukhbir singh badal ) ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ( PM Modi ) से इस्लामाबाद में अपने समकक्ष इमरान खान ( Imran Khan ) के साथ देश में अल्पसंख्यकों के मुद्दे को उठाने के लिए कहा है।
उन्होंने कहा है कि पाकिस्तान में अल्संख्यक बेहद असुरक्षित महसूस कर रहे हैं।
ननकाना साहिब गुरुद्वारे ( Nankana Sahib in Pakistan ) पर शुक्रवार को एक बड़ी मुस्लिम भीड़ ने हमला किया था, जिसके बाद सिख श्रद्धालु गुरुद्वारे के अंदर फंस गए। सोशल मीडिया पर प्रसारित वीडियो में दिख रही भीड़ ने अल्पसंख्यक समुदाय के खिलाफ सांप्रदायिक और घृणित नारे लगाए और धर्मस्थल पर पथराव किया।
पाकिस्तानी सूत्रों का कहना है कि भीड़ का नेतृत्व मोहम्मद हसन के परिवार ने किया था, जिसने एक सिख लड़की जगजीत कौर का अपहरण और धर्म परिवर्तन किया था।
इस मामले में वे लोग उनके खिलाफ की गई पुलिस कार्रवाई का विरोध कर रहे थे।
ननकाना साहिब हमला 1955 के पंत-मिर्जा समझौते का उल्लंघन है। इसके तहत भारत और पाकिस्तान यह सुनिश्चित करने व हर संभव प्रयास करने के लिए बाध्य हैं कि वह ऐसे पूजा स्थलों की पवित्रता को संरक्षित रखें, जिनमें दोनों देशों के श्रद्धालु जाते हैं।
एक देर रात मीडिया ब्रीफिंग में सिख समुदाय की ओर से पाकिस्तान के गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के अध्यक्ष सतपाल सिंह ने सरकार से शांति बहाल करने के लिए गुंडों के खिलाफ कार्रवाई करने को कहा।
एक आधिकारिक बयान में भारत ने पवित्र गुरुद्वारे पर हमले की कड़ी निंदा की है। भारत ने पाकिस्तान से सिख समुदाय की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए तत्काल कदम उठाने का आह्वान किया है।
Updated on:
04 Jan 2020 09:12 pm
Published on:
04 Jan 2020 04:57 pm
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