
mohan bhagwat
नई दिल्ली। सोशल मीडिया वेबसाइट ट्विटर और केंद्र सरकार के बीच पिछले कुछ दिनों से तकरार चल रही है। माइक्रोब्लॉगिंग साइट ट्विटर ने बड़ी कार्रवाई करते हुए राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के प्रमुख मोहन भागवत के निजी ट्विटर हैंडल से ब्लू टिक हटा दिया है। मोहन भागवत से पहले आज सुबह ट्विटर ने देश के उपराष्ट्रपति वेंकैया नायडू के ट्विटर हैंडल से ब्लू टिक को हटा दिया था। हालांकि इस फैसले पर बवाल बढ़ने के बाद ट्विटर ने वेंकैया नायडू के ट्विटर हैंडल पर दोबारा ब्लू टिक लगा दिया था।
यह भी पढ़ें :— तीसरी लहर से पहले खुशखबरी: इस महीने आ सकती है बच्चों की स्वदेशी वैक्सीन, टीके के तीसरे चरण का परीक्षण पूरा
अब मोहन भागवत के अंकाउट से हटाया ब्लू टिक
ट्विटर ने एक और बड़ा एक्शन लेते हुए इस बार आरएसएस प्रमुख मोहन भागवत के ट्विटर अकाउंट से ब्लू टिक हटा दिया है और उसे अनवेरिफाइड कर दिया है। अब संघ प्रमुख के ट्विटर अकाउंट से ब्लू टिक हटाने पर हंगामा मच सकता है। मोहन भागवत का ट्विटर अकाउंट मई 2019 में बना था, लेकिन अभी उनके ट्विटर पर एक भी ट्वीट नहीं दिखा रहा है। वे सिर्फ आरएसएस के ऑफिशियल ट्विटर हैंडल को फॉलो करते हैं, जबकि उनके फॉलोअरों की लिस्ट में 2 लाख से अधिक लोग हैं। बता दें कि मोहन भागवत से पहले आरएसएस के कई बड़े नेताओं के अकाउंट को भी ट्विटर ने अनवेरिफाई कर दिया था। इनमें सुरेश सोनी, सुरेश जोशी और अरुण कुमार जैसे नेता शामिल हैं।
ट्विटर ने दी ये सफाई
आज सुबह ट्विटर ने उपराष्ट्रपति एम वेंकैया नायडू के अकाउंट से ब्लू टिक को हटा दिया था। हालांकि ट्विटर ने अपनी गलती स्वीकार करते हुए उपराष्ट्रपति नायडू का अकाउंट दोबारा वेरिफाइड कर दिया है। सरकार की नाराजगी के बाद ट्विटर ने ये कदम उठाया है। सरकार ने एतराज जताते हुए कहा था कि उपराष्ट्रपति देश का दूसरा सबसे बड़ा संवैधानिक पद है। संविधानिक पद पर बैठे व्यक्ति किसी पार्टी का हिस्सा नहीं होते। इसलिए सरकार ट्विटर की इस हरकत को संवैधानिक अनादर की नजर से देखती है। इस मामले में ट्विटर ने सफाई देते हुए कहा कि यह अकाउंट जुलाई 2020 से निष्क्रिय था और अब उसे सत्यापित करने वाले ब्लू टिक को बहाल कर दिया गया है। उपराष्ट्रपति ट्वीट करने के लिए आधिकारिक अकाउंट का इस्तेमाल करते हैं।
Published on:
05 Jun 2021 03:02 pm
बड़ी खबरें
View Allविविध भारत
ट्रेंडिंग
