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कौन है नूपुर बोरा? सीएम की स्पेशल विजिलेंस टीम छह महीने से रख रही थी निगरानी, जानिए क्यों हुई अरेस्ट?

Assam land scam: नूपुर बोरा पर आरोप है कि उसने 6 साल तक सरकार में सेवा देने के बाद काफी संपत्ति अर्जित कर ली थी। जो कि उसके वेतन से काफी अधिक थी।

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भारत

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Ashib Khan

Sep 16, 2025

नूपुर बोरा को पुलिस ने गिरफ्तार किया (Photo-X)

असम सिविल सेवा की अधिकारी नूपुर बोरा को सोमवार को पुलिस ने आय से अधिक संपत्ति रखने के मामले में गिरफ्तार किया। पुलिस ने बोरा के आवास से करोड़ों रुपये की नकदी और जेवर बरामद किए। सीएम की स्पेशल विजिलेंस टीम ने उनके गुवाहाटी स्थित घर से 92 लाख रुपये और करीब 1 करोड़ रुपये के आभूषण बरामद किए। इसके अलावा बारपेटा स्थित किराए के घर से करीब 10 लाख रुपये नकद बरामद किए। फिलहाल पुलिस बोरा से पूछताछ कर रही है।

कौन हैं नूपुर बोरा (Who is Nupur Bora)

नूपुर बोरा का जन्म 31 मार्च 1989 को हुआ था। वह असम के गोलाघाट जिले की रहने वाली हैं। बोरा एक एसीएस अधिकारी हैं। सिविल सेवा में शामिल होने से पहले बोरा ने जिला शिक्षा एवं प्रशिक्षण संस्थान (DIET) में लेक्चरर के रूप में काम किया था। फिलहाल वह कामरूप जिले के गोरोइमारी में सर्किल ऑफिसर के पद पर तैनात थीं। बोरा ने गुवाहाटी यूनिवर्सिटी से अंग्रेजी साहित्य में कला स्नातक की डिग्री प्राप्त की और कॉटन कॉलेज से पढ़ाई की। 

क्या है आरोप

नूपुर बोरा पर आरोप है कि उसने 6 साल तक सरकार में सेवा देने के बाद काफी संपत्ति अर्जित कर ली थी। जो कि उसके वेतन से काफी अधिक थी। वहीं सीएम की स्पेशल विजिलेंस टीम ने बोरा के सहयोगी लाट मंडल सुरजीत डेका के आवास पर भी छापा मारा। बता दें कि सुरजीत डेका बारपेटा में राजस्व सर्किल कार्यालय में कार्यरत है। डेका पर आरोप है कि उन्होंने नूपुर बोरा की मदद से बारपेटा में जमीन खरीदी।

नूपुर बोरा की गिरफ्तारी पर बोले सीएम 

एसीएस अधिकारी नूपुर बोरा की गिरफ्तारी पर असम के मुख्यमंत्री हिमंता बिस्व सरमा ने प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा कि विवादास्पद भूमि मामलों में कथित संलिप्तता के कारण उन पर छह महीने से निगरानी रखी जा रही थी।

'हिंदुओं की जमीन को किया हस्तांतरित'

सीएम ने आगे कहा कि जब वह बारपेटा राजस्व सर्किल में तैनात थीं तब नूपुर बोरा ने रुपयों के बदले हिंदुओं की जमीन को संदिग्ध व्यक्तियों को हस्तांतरित की थी। उन्होंने कहा कि जांच पूरी होने तक किसी भी आरोपी को राहत नहीं मिलेगी।