
पीलीभीत में दर्दनाक सड़क हादसा: पांच की मौत, कई परिवारों में मातम (फोटो सोर्स : Social Media / Whatsapp )
Road Accident Safety Awareness: पीलीभीत जिले के जहानाबाद क्षेत्र स्थित हरिद्वार नेशनल हाईवे पर शनिवार दोपहर हुए भीषण सड़क हादसे ने न सिर्फ पांच जिंदगियां छीन लीं, बल्कि कई परिवारों को हमेशा के लिए गहरे सदमे में डाल दिया। हादसा इतना भीषण था कि घटनास्थल पर चीख-पुकार मच गई और अस्पताल में मातम का माहौल बन गया।
इस हादसे का सबसे दर्दनाक पहलू तरीशा की कहानी है। करीब पांच महीने पहले सड़क हादसे में उसके पति सुल्तान की मौत हो गई थी। सुल्तान एक प्राइवेट बस चलाते थे और उनकी असमय मौत से तरीशा पूरी तरह टूट चुकी थी। लेकिन मां और तीन साल की मासूम बेटी हमजा के सहारे उन्होंने जिंदगी को आगे बढ़ाने का फैसला किया।
शनिवार को किस्मत ने फिर एक बेरहम वार किया। टेंपो में सफर कर रही उनकी मां राजिदा (45) और मासूम बेटी हमजा दोनों की इस हादसे में मौत हो गई। हादसे में घायल तरीशा अस्पताल के बिस्तर पर जिंदगी से जूझ रही हैं। परिजन रो-रोकर यही कह रहे हैं-
"अब किस सहारे जिएगी हमारी तरीशा…"
इस हादसे में टेंपो चालक विजय की भी मौत हो गई। विजय की चार महीने पहले ही शादी हुई थी और वह टेंपो चलाकर अपने परिवार का भरण-पोषण कर रहे थे। घर में सब कुछ ठीक चल रहा था, मगर इस हादसे ने खुशहाल परिवार को मातम में बदल दिया। मौत की खबर सुनते ही परिजन बदहवास हो गए और घर में कोहराम मच गया।
हादसे के एक और पीड़ित पश्चिम बंगाल निवासी फरीदा बी (32) और उनका 10 वर्षीय बेटा जानिसार हैं। दोनों की मौके पर ही मौत हो गई। अचानक हुए इस हादसे ने हंसते-खेलते परिवार की खुशियां छीन लीं।
शनिवार दोपहर करीब तीन बजे यात्रियों से भरा टेंपो पीलीभीत की ओर जा रहा था। तभी अमरिया की ओर से आ रही तेज रफ्तार कार ने ओवरटेक करने के प्रयास में टेंपो को जोरदार टक्कर मार दी। टक्कर के बाद टेंपो पलट गया, जिससे सवारियां दब गईं। स्थानीय लोगों ने तत्काल राहत कार्य शुरू किया और घायलों को अस्पताल पहुंचाया।डॉक्टरों ने पांच लोगों को मृत घोषित कर दिया और सात गंभीर घायलों को जिला अस्पताल रेफर किया।
हादसे की जानकारी मिलते ही डीएम ज्ञानेंद्र सिंह, सिटी मजिस्ट्रेट विजय वर्धन तोमर और सीएमओ डॉ. आलोक कुमार अस्पताल पहुंचे और घायलों का हाल जाना। एआरटीओ वीरेंद्र सिंह ने हादसे के कारणों पर प्राथमिक जांच रिपोर्ट देते हुए कहा कि तेज रफ्तार में ओवरटेक करना और टेंपो में क्षमता से अधिक सवारियां होना, दोनों ही हादसे के मुख्य कारण पाए गए हैं।उन्होंने आश्वासन दिया कि आगे ऐसे हादसों को रोकने के लिए ठोस कदम उठाए जाएंगे।
हादसे की खबर मिलते ही मृतकों के परिजन अस्पताल में पहुंचने लगे। हर ओर चीख-पुकार और मातम का माहौल था। जिला अस्पताल में देर रात तक कोहराम मचा रहा। हादसे में घायल लोगों का इलाज जारी है और प्रशासन ने पीड़ित परिवारों को हर संभव मदद का भरोसा दिया है।
स्थानीय निवासियों ने प्रशासन से मांग की है कि हाईवे पर गति सीमा का कड़ाई से पालन कराया जाए। सवारी वाहनों में ओवरलोडिंग पर सख्त कार्रवाई हो। दुर्घटनाग्रस्त क्षेत्रों में पुलिस गश्त और निगरानी बढ़ाई जाए।
Published on:
24 Aug 2025 01:35 pm
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