26 दिसंबर 2025,

शुक्रवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

राजेश पायलट की आज है 23वीं पुण्यतिथि, सचिन पायलट जाएंगे दौसा, जानें कौन थे Rajesh Pilot

Sachin Pilot Dausa Bhadana in Headlines सचिन पायलट, दौसा, भडाणा गांव तीनों आजकल सुर्खियों में हैं। आज 11 जून का दिन कांग्रेस के लिए बेहद अहम है। 11 जून को सचिन पायलट दौसा जिले के भडाणा गांव में जाकर स्व. राजेश पायलट की 23वीं पुण्यतिथि पर अपने श्रद्धा सुमन आर्पित करेंगे। राजेश पायलट कौन हैं? इनका सचिन पायलट से क्या रिश्ता है? ऐसे कई सवाल आप के मन होंगे तो जानें इन सभी सवालों के जवाब।

2 min read
Google source verification
rajesh_pilot.jpg

राजेश पायलट File Photo

Who Was Rajesh Pilot स्व. राजेश पायलट की 11 जून को 23वीं पुण्यतिथि है। राजेश पायलट किसानों के मसीहा के रूप में जाने जाते हैं। दौसा के भडाणा गांव में स्व. राजेश पायलट की स्मृति में 11 जून को श्रद्धांजलि सभा होगी। 11 जून को स्व. राजेश पायलट के बेटे सचिन पायलट पर सबकी निगाहें होगी। वजह है कि आजकल सचिन पायलट कांग्रेस से खफा हैं। अब हम बात करते हैं राजेश पायलट की। यूपी के गाजियाबाद जिले के वेदपुरा में राजेश पायलट का जन्म हुआ था। स्व. राजेश पायलट का जन्म यूपी में जरूर हुआ था, पर उनकी कर्मभूमि हमेशा से राजस्थान रही। राजेश पायलट ने अपना जीवन दूध बेचने से शुरू किया और बाद में एयरफोर्स के पायलट हो गए। राजेश्वर प्रसाद से राजेश पायलट बनने की उनकी यात्रा बेहद खास है।



राजेश पायलट का जन्म और शिक्षा

राजेश पायलट का जन्म 10 फरवरी, 1945 को हुआ था। पिता का नाम जय दयाल सिंह था। राजेश ने मेरठ विश्वविद्यालय, मेरठ और नई दिल्ली से फ्लाइंग एजूकेशन में अपना ग्रेजुएशन पूरा किया।

निजी जीवन

राजेश पायलट ने 12 मार्च 1974 को रमा पायलट से शादी की। पायलट के दो बच्चे- सचिन पायलट (पुत्र) और सारिका पायलट (पुत्री) हैं। सचिन पायलट भी पिता के नक्शेकदम पर चलते हुए राजनीति कर रहे हैं। और आजकल सुर्खियों में हैं। सचिन पायलट की शादी फारूक अब्दुल्ला की बेटी सारा से हुई है।

पायलट से बने राजनेता

राजेश्वर प्रसाद यानि राजेश पायलट का 29 अक्टूबर, 1966 को भारतीय वायुसेना में एक पायलट अधिकारी के रूप में चयन हुआ। वर्ष 1979 में पायलट ने अपने दोस्त राजीव गांधी (भारत के पूर्व प्रधान मंत्री) के प्रभाव में इस्तीफा दे दिया। और राजनीति के तरफ कदम बढ़ा दिए। उस वक्त पायलट जैसलमेर में स्क्वाड्रन लीडर के पद पर तैनात थे।

राजनीतिक करियर

1- 7वीं लोकसभा में भरतपुर से चुनाव जीता। कमाल बात यह रही की राजेश्वर प्रसाद ने अपना नाम बदल कर राजेश पायलट रख लिया।
2- राजस्थान के दौसा से 8वीं लोकसभा का चुनाव लड़ा और जीता।
3- भारत सरकार में 1985-1989 के बीच भूतल परिवहन मंत्री रहे।
4- जय जवान जय किसान ट्रस्ट की स्थापना 1987 में की।
5- 10वीं लोकसभा चुनाव जीते। 1991-1993 में दूरसंचार मंत्री रहे।
6- 1992 में कांग्रेस वर्किंग कमेटी के सदस्य बने।
7- आंतरिक सुरक्षा मंत्री के रूप में 1993-1995 में कार्य किया।
8- 1995-1996 में केंद्रीय पर्यावरण मंत्री रहे।
9- 11वीं लोकसभा के चुने गए।
10- 12वीं लोकसभा के लिए दोबारा चुने गए।
11- वीं लोकसभा के लिए चुने गए।
12- वे रक्षा समिति और लोक लेखा समिति के सदस्य रहे।

राजेश पायलट ने कहा - अलविदा

फिर वह दिन आया जब राजेश पायलट 11 जून 2000 को 55 साल की उम्र में जयपुर के पास एक कार दुर्घटना में सबको अलविदा कह गए।