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आजम का तीन बार हुआ मौत से सामना, सैकड़ों राउंड फायरिंग में भी नहीं हुआ बाल भी बांका, जानें उनके जीवन के अनसुने किस्से

समाजवादी पार्टी के कद्दावर नेता आजम खान अपने समर्थकों के बीच रामपुर पहुंचकर बेहद भावुक हो गए। इस दौरान उन्होंने अपने जीवन के उन किस्सों को भी लोगों से साझा किया, जिनके बार बहुत कम ही लोग जानते हैं। आजम ने बताया कि तीन बार उनका मौत से आमना-सामना हुआ है, लेकिन उन्हें कुछ नहीं हुआ।

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समाजवादी पार्टी के कद्दावर नेता आजम खान पूरे 814 के बाद शुक्रवार को अपने गृह जनपद रामपुर पहुंचे। अपनों के बीच पहुंचकर आजम खान बेहद भावुक नजर आए। इस दौरान लोगों को संबोधित करते हुए उन्होंने जेल के अनुभवों को साझा किया। आजम ने जहां अपनी रिहाई पर सुप्रीम कोर्ट का शुक्रिया अदा किया, वहीं जेल में उनसे दूरी बनाने वालों को भी आड़े हाथों लिया। इस दौरान उन्होंने अपने जीवन के उन किस्सों को भी साझा किया, जिनके बारे में बहुत ही कम लोग जानते हैं। आजम खान ने कहा कि उनका तीन बार मौत से सामना हुआ है, लेकिन मेरा बाल भी बांका नहीं हुआ। आजम को अपने बीच पाकर उनके समर्थक भी फूले नहीं समा रहे थे। समर्थकों ने कहा कि उनके लिए तो यही ईद है।

'सैकड़ों राउंड फायरिंग में भी मैं नहीं मरा'

आजम खान 1989 के एक किस्से का जिक्र करते हुए बताया कि तब कांग्रेस की सरकार हुआ करती थी और नवाबजादे जुल्फिकार अली संसद के सदस्य थे और उनके बड़े भाई भी जीवित थे। मैं पत्नी और तीनों बेटियों के साथ वोट डालने गया था। उस दौरान मेरे सीने पर 7-8 तमंचे तान दिए गए थे, जिनमें एक जर्मन पिस्टल भी थी। सभी ने ताबड़तोड फायरिंग की। रिवॉल्वर आकर मेरे पास गिरी। पुलिस की फायरिंग हुई और सैकड़ों राउंड गोली चली। तब भी मुझे मौत नहीं... मैं नहीं मरा।

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हेलीकॉप्टर हादसे में भी कुछ नहीं हुआ

आजम ने एक अन्य किस्से को बयां करते हुए बताया कि पिछली बार चुनाव प्रचार कर रहा था। यह तो आप सभी अच्छे से जानते होंगे की हेलीकॉप्टर के पर में मक्खी के समान भी कुछ आ जाए तो वह क्रैश हो जाएगा। उस दौरान दो करोड़ का हेलीकॉप्टर था। एक बड़ा टुकड़ा उड़ और बहुत जोर का धमाका हुआ। हेलीकॉप्टर नाचता रहा... वह कभी हाईटेंशन लाइन में उलझा तो कभी कभी ट्रेन से। पायलट पसीने-पसीने थे। उस वक्त एक दुआ याद रही थी… हेलीकॉप्टर जमीन पर गिरा और वह उस खेत में गिरा जहां आलू निकाले गए थे और खेत बहुत नरम था।

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अस्पताल में सिर्फ मैं ही जिंदा बचा

आजम खान ने पिछले दिनों कोरोना महामारी का जिक्र करते हुए बताया कि मुझे जेल में कोरोना हो गया था। इतना भयानक कोरोना हुआ कि पूरे अस्पताल में सिर्फ मैं ही जिंदा बचा। मेरे सामने का वार्ड खाली हो जाता था और फिर से भर जाता था। मुझे तब भी मौत नहीं आई। ये मेरे चाहने वालों की कोशिश का नतीजा है कि मैं जिंदा बाहर आ गया हूं।