
Maa Kushmanda Mantra Aarti In Hindi|फोटो सोर्स – Freepik
Maa Kushmanda Mantra Aarti In Hindi: नवरात्रि के चौथे दिन मां कुष्मांडा की पूजा विशेष महत्व रखती है। मां कुष्मांडा को ब्रह्मांड की सृष्टि का स्त्रोत माना जाता है, और उनकी कृपा से जीवन में समृद्धि, ऊर्जा और स्वास्थ्य की प्राप्ति होती है। इस दिन उनकी आराधना में विशेष मंत्रों का जाप, आरती का पाठ और उचित प्रसाद अर्पित करना अत्यंत शुभ माना जाता है। इस लेख में जानिए मां कुष्मांडा के पूजन से जुड़ी उपयोगी मंत्र, आरती और प्रसाद की खास बातें, ताकि आप नवरात्रि के इस पावन अवसर पर उनकी विधिपूर्वक पूजा कर सकें और मां की असीम कृपा प्राप्त कर सकें।
या देवी सर्वभूतेषु मां कूष्माण्डा रूपेण संस्थिता।
नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नमः॥
मां कूष्मांडा की प्रार्थना (Maa Kushmanda)
सुरासम्पूर्ण कलशं रुधिराप्लुतमेव च।
दधाना हस्तपद्माभ्यां कूष्माण्डा शुभदास्तु मे॥
ऐं ह्री देव्यै नम:
कूष्मांडा जय जग सुखदानी।
मुझ पर दया करो महारानी॥
पिगंला ज्वालामुखी निराली।
शाकंबरी मां भोली भाली॥
लाखों नाम निराले तेरे।
भक्त कई मतवाले तेरे॥
भीमा पर्वत पर है डेरा।
स्वीकारो प्रणाम ये मेरा॥
सबकी सुनती हो जगदम्बे।
सुख पहुंचती हो मां अम्बे॥
तेरे दर्शन का मैं प्यासा।
पूर्ण कर दो मेरी आशा॥
मां के मन में ममता भारी।
क्यों ना सुनेगी अरज हमारी॥
तेरे दर पर किया है डेरा।
दूर करो मां संकट मेरा॥
मेरे कारज पूरे कर दो।
मेरे तुम भंडारे भर दो॥
तेरा दास तुझे ही ध्याए।
भक्त तेरे दर शीश झुकाए॥
मान्यता है कि मां कुष्मांडा को मीठे और पीले रंग के व्यंजन विशेष रूप से प्रिय हैं। पूजा के दौरान पीले रंग का केसर मिला पेठा देवी को अर्पित करना शुभ माना जाता है। कुछ भक्त मां को सफेद पेठे का पूरा फल भी समर्पित करते हैं। इसके अलावा, मां को मालपुआ और बताशे का भोग भी अत्यंत प्रिय होता है। इन मिठाइयों को श्रद्धा के साथ अर्पित करने से देवी प्रसन्न होती हैं और सुख-समृद्धि का आशीर्वाद देती हैं।
Updated on:
24 Sept 2025 11:15 am
Published on:
24 Sept 2025 10:17 am
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