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राजस्थान में पंचायत-निकाय चुनाव से पहले सियासी जमीन मजबूत करने में जुटी भाजपा, आज इन मुद्दों पर होगा मंथन

Rajasthan BJP: राजस्थान में पंचायत व नगर निकाय चुनाव से पहले भाजपा ने सियासी जमीन और मजबूत करने की दिशा में कवायद शुरू कर दी है।

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सीकर

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Anil Prajapat

Dec 06, 2025

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सीएम भजनलाल के साथ मदन राठौड़ और अरूण चतुर्वेदी। फोटो: पत्रिका

सीकर। राजस्थान में पंचायत व नगर निकाय चुनाव से पहले भाजपा ने सियासी जमीन और मजबूत करने की दिशा में कवायद शुरू कर दी है। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा आज सीकर जिले के 117 भाजपा पदाधिकारियों के साथ संवाद करेंगे। इस दौरान जिले के विभिन्न मुद्दों पर भी चर्चा होगी।

बैठक में सीकर को नगर निगम बनाने, नानी बीड़ के पानी निकासी प्रोजेक्ट को हरी झंडी दिलाने, नहरी पानी, शिक्षानगरी का नया मास्टर प्लान सहित अन्य मुद्दे रखे जाने की संभावना है। बैठक में मौजूदा जिलाध्यक्ष मनोज बाटड़, निर्वतमान जिलाध्यक्ष डॉ कमल सिखवाल, प्रदेश पदाधिकारी, मोर्चा प्रदेश पदाधिकारी, संभाग प्रभारी, संभाग सह प्रभारी, जिला प्रभारी, जिला पदाधिकारी, मंडल अध्यक्ष व मोर्चा जिलाध्यक्षों को बुलाया गया है।

इससे पहले मुख्यमंत्री आठों विधानसभा क्षेत्र के प्रमुख नेताओं से भी संवाद कर चुके है। गौरतलब है कि मुख्यमंत्री ने पिछले दिनों से संगठन पदाधिकारियों के जरिए ग्रासरूट की जानकारी जुटाने के लिए संवाद कार्यक्रम शुरू किया है। इसके तहत शनिवार को सीकर जिले के पदाधिकारियों से चर्चा होनी है।

इन मुद्दों पर बैठक में होगा मंथन

1. नानी बीड़ पानी निकासी: शिक्षानगरी की यह समस्या विधानसभा में भी गूंज चुकी है। सीकर दौरे के दौरान मुख्यमंत्री की ओर से भी इस प्रोजे€ट की घोषणा की जा चुकी है। इसके बाद भी काम शुरू नहीं हुआ है। ऐसे में भाजपा पदाधिकारियों की ओर से नगर निकाय व पंचायत चुनावों से पहले इस प्रोजेक्ट को शुरू कराने की मांग रखी जाने की संभावना है।

2. नहरी पानी: यमुना जल समझौते के बाद भी डीपीआर पर मुहर नहीं लगने की वजह से लगातार यह घोषणा सियासत बढ़ा रही है। ऐसे में स्थानीय जनप्रतिनिधियों की ओर से इस प्रोजे€ट को लेकर चर्चा की जाएंगी। आगामी चुनावों से पहले इस मुद्दे को फिर से भुनाने को लेकर भी रणनीति तैयार होगी। शुक्रवार को राज्यसभा सदस्य तिवाड़ी ने मुद्दा उठाया।

3. सीकर संभाग व नगर निगम: पिछली सरकार के समय सीकर को संभाग व नीमकाथाना को जिले का दर्जा मिला था।लेकिन सरकार की समीक्षा के बाद सीकर संभाग व नीमकाथाना जिले के फैसले को रद्द कर दिया गया। ऐसे में नगर निगम की घोषणा का प्रस्ताव भी स्थानीय संगठन पदाधिकारियों की ओर से रखा जाएगा।

4. एकजुटता व टिकट वितरण: बैठक में संगठन की एकजुटता बढ़ाने, आगामी कार्यक्रम, सरकार की प्रमुख योजनाओं को ग्रास रूट तक लेकर जाने व टिकट वितरण को लेकर भी सुझाव दिए जा सकते है। कई पदाधिकारियों की ओर से मंडलों के नवाचारों की जानकारी भी सरकार तक पहुंचाने की योजना है।

    पूर्व जिलाध्यक्षों में सिर्फ सिखवाल को मिला मौका

    संगठन के लिहाज से होने वाली बैठक में पिछले दस सालों में पार्टी की कमान संभालने वाले जिलाध्यक्षों को बुलाए जाने की संभावना थी। लेकिन सीकर जिले में पार्टी के सिर्फ पूर्व जिलाध्यक्ष डॉ कमल सिखवाल को ही यह मौका मिला है। सूत्रों का कहना है कि यदि पिछले तीन-चार जिलाध्यक्षों को इस अहम बैठक में बुलाया जाता तो जिले के मुद्दों पर विस्तार और गहनता से मंथन हो सकता था। इधर, नौ जन प्रतिनिधियों को मुख्यमंत्री कार्यालय में रविवार दोपहर साढ़े 12 बजे बुलाया गया है। चर्चा है कि संगठन पदाधिकारियों से मिलने वाले फीडबैक को लेकर इन जनप्रतिनिधियों से भी चर्चा की जाएगी।