Ice Cube On Face Benefits: आइस थेरेपी करना स्किन के लिए फायदेमंद होता है, लेकिन क्या गर्मी में चेहरे पर आइस लगाना वाकई फायदेमंद है? आइए जानते हैं।
Ice Cube On Face Benefits: गर्मी के मौसम में चेहरे पर पसीना, धूप की झुलस और चिपचिपापन आम समस्याएं बन जाती हैं। ऐसे में लोग अपने चेहरे की रंगत को वापस लाने के लिए कई घरेलू तरीके अपनाते हैं, जिससे उनकी स्किन पहले की तरह चमकने लगे।
आज के सोशल मीडिया के जमाने में आइस थेरेपी का काफी ट्रेंड चल रहा है, जिसे बॉलीवुड सेलिब्रिटीज भी अपनी स्किन को यंग और फ्रेश बनाए रखने के लिए इस्तेमाल करते हैं। लेकिन सवाल यह है कि गर्मी में इसका इस्तेमाल वास्तव में फायदेमंद है या नहीं?तो आइए जानते हैं आइस लगाने के फायदे और इसे लगाने का सही तरीका।
चेहरे पर मुंहासे या पिंपल्स होना आम बात है, लेकिन सही इलाज ना मिलने पर ये परेशानी बढ़ सकती है। अगर आप भी इस समस्या से जूझ रहे हैं, तो चेहरे पर आइस क्यूब्स रगड़ना एक असरदार उपाय हो सकता है। यह एक प्राकृतिक तरीका है, जो बिना किसी साइड इफेक्ट्स के पिंपल्स की सूजन और लालिमा को कम करने में मदद करता है।
उम्र बढ़ने और तनाव की वजह से चेहरे पर रिंकल्स यानी झुर्रियां आने लगती हैं। ऐसे में बर्फ को चेहरे पर रगड़ना फायदेमंद हो सकता है। इसका इस्तेमाल रोजाना करने से यह त्वचा को टाइट रखने में मदद करता है और समय से पहले एजिंग के लक्षणों को कम करता है।
यदि आपकी त्वचा अधिक ऑयली है, तो बर्फ का उपयोग करना बेहद फायदेमंद हो सकता है। हर दिन कुछ मिनट तक चेहरे पर बर्फ लगाने से स्किन पोर्स टाइट होते हैं और चेहरे का ऑइल भी बैलेंस रहता है। इससे पिंपल्स और अन्य स्किन समस्याएं कम होती हैं।
बर्फ लगाने से त्वचा को ठंडक पहुंचती है, जिससे त्वचा की सूजन और जलन कम होती है। साथ ही रोजाना आइस को चेहरे पर मसाज करने से ओपन पोर्स भी कम होते हैं, जिससे त्वचा चिकनी और मुलायम नजर आती है।
बर्फ को साफ कपड़े में लपेटें: बर्फ को सीधे त्वचा पर न लगाएं, बल्कि इसे एक साफ कपड़े में लपेटकर लगाएं।
बर्फ को 5-10 मिनट तक लगाएं: बर्फ को 5-10 मिनट तक लगाएं, इससे अधिक समय तक न लगाएं।
बर्फ को नियमित रूप से न लगाएं: बर्फ को नियमित रूप से न लगाएं, इससे त्वचा पर रूखापन बढ़ सकता है, इसलिए इसे सप्ताह में 2-3 बार लगाएं।
डिसक्लेमरः इस लेख में दी गई जानकारी का उद्देश्य केवल रोगों और स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के प्रति जागरूकता लाना है। यह किसी क्वालीफाइड मेडिकल ऑपिनियन का विकल्प नहीं है। इसलिए पाठकों को सलाह दी जाती है कि वह कोई भी दवा, उपचार या नुस्खे को अपनी मर्जी से ना आजमाएं बल्कि इस बारे में उस चिकित्सा पैथी से संबंधित एक्सपर्ट या डॉक्टर की सलाह जरूर ले लें।