
छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट (Photo Patrika)
CG News: बिलासपुर छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने क्षेत्रीय ट्रांसपोर्टर वेलफेयर एसोसिएशन द्वारा एनटीपीसी सीपत के खिलाफ दायर जनहित याचिका को खारिज किया है। कोर्ट ने याचिका को कानूनी प्रक्त्रिस्या का दुरुपयोग बताते हुए 50 हजार रुपए जुर्माना याचिकाकर्ता पर लगाया और सुरक्षा निधि भी जब्त की है।
संघ ने अपने अध्यक्ष शत्रुघ्न कुमार लास्कर के माध्यम से जनहित याचिका दायर कर एनटीपीसी सीपत से निकलने वाले लाई ऐश से भरे ट्रकों की ओवरलोडिंग पर रोक लगाने तथा प्रदूषण रोकने के लिए सभी ट्रकों को तिरपाल से ढंककर भेजने के निर्देश देने की मांग की थी। उसने सीपत-बिलासपुर-बलौदा मार्ग पर मोटरयान अधिनियम के प्रावधानों के कड़ाई से पालन की भी गुहार लगाई थी।
कोर्ट ने यह भी उल्लेख किया कि इसी मुद्दे पर पहले से ही जनहित याचिका लंबित है। कोर्ट ने स्वत: संज्ञान ले रखा है। इसके बावजूद, याचिकाकर्ता ने समानांतर याचिका दायर की। कोर्ट ने इसे जनहित नहीं बल्कि व्यक्तिगत व्यापारिक प्रतिस्पर्धा बताया।
कोर्ट ने यह भी पाया कि जुलाई 2025 में याचिकाकर्ता के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई थी, जिसमें उस पर एनटीपीसी से जुड़े गिट्टी परिवहन कार्य में लगे वाहनों को रोकने, चालकों को धमकाने और कानून-व्यवस्था बिगाड़ने के आरोप लगाए गए थे। इस तथ्य को याचिका में छुपाना, अदालत के अनुसार, उसकी विश्वसनीयता पर गंभीर प्रश्न खड़ा करता है।
सुनवाई के दौरान चीफ जस्टिस रमेश सिन्हा, जस्टिस रविन्द्र कुमार अग्रवाल की बेंच ने पाया कि याचिका सद्भावना से प्रेरित नहीं है, इसमें व्यक्तिगत स्वार्थ है। याचिकाकर्ता स्वयं ट्रांसपोर्टर है और एनटीपीसी के परिवहन ठेकों में उसकी प्रत्यक्ष व्यावसायिक रुचि है।
याचिकाकर्ता ने अधिकारियों को पत्र लिखकर स्थानीय परिवहनकर्ताओं को प्राथमिकता और भाड़ा दर तय करने की मांग भी की थी, जिससे उसका निजी स्वार्थ स्पष्ट होता है।
Published on:
24 Aug 2025 02:16 pm
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