
बूंदी- बूंदी उत्सव के दूसरे दिन उत्सवी रंगो की छटा बिखरी। मंगलवार को बूंदी सुख महल परिसर में विदेशी मेहमानों की देशी पकवानों से मान मनुहार की गई। पर परागत तरीके से विदेशी पावणों की आगवानी से सैलानी भी गद्गद हो उठे। माथे पर कुमकुम का टीका व सर पर साफा बंधवाकर प्रफुल्लित हो उठे। लोक कलाकारों ने भी रंगारंग प्रस्तुतिया देकर विदेशी पावणों का दिल जीत लिया। अतिरिक्त जिला कलक्टर नरेश कुमार मालव एवं अतिरिक्त जिला कलक्टर सीलिंग ममता तिवाड़ी ने कार्यक्रम में शिरकत कर रहे विदेशी सैलानियों की आवभगत की।
सुरो की छेड़ी राग...नाक से बजाई बासूंरी-
सुखमल महल में आयोजित सुर संगम कार्यक्रम में लोक कलाकारों ने अपनी मनमोहक प्रस्तुतियों से खुब तालियां बटोरी। कच्छी घोडी नृत्य व लोक वाद्य यंत्रों की ध्वनियां विदेशी सैलानियों को खूब रास आई। ठीकरदा के कलाकार ने जब नाक से बांसूरी बजाई तो सैलानी मंत्रमुग्ध हो उठे।
दाल-बाटी चुरमा के लगे चटकारे-
मान मुनहार कार्यक्रम में देशी स्वादिष्ट पकवानों का विदेशी पावणों ने जमकर लुत्फ लिया। करीब २० प्रकार के स्वादिष्ट व्यंजनों से सजी थाली को देखकर सैलानियों के मुंह में पानी आ गया जब भोजन का स्वाद लिया तो चटकारे लिए बगैर नही रह सके। व्यंजन में दाल बाटी चुरमा के अलावा कत्त,पनीर चुरमा, खिचड़ा, मक्के व बाजरा की रोटी, मसाला बाटी,लहसून की चटनी, राबड़ी, जलेबी, पकोड़ी, अन्य व्यंजन शामिल रहे।
लाइव कुकीज का लिया आनन्द-
मान मनुहार कार्यक्रम के तहत विदेशी पावणो ने लाइव कुकीज का भी लुत्फ लिया। स्पेन से आए जॉन और मॉरिया ने बताया कि बूंदी उत्सव को लेकर काफी सुना था यहां की संस्कृति को करीब से जाना। बनाए गए पकवानों को लेकर जानकारी ली। समारोह में सहायक पर्यटन अधिकारी प्रेमशंकर सैनी, जिला रसद अधिकारी संदीप माथुर, इंटेक संयोजक विजयराज सिंह, पुरूषोत्तमलाल पारीक सहित बडी सं या में विदेशी सैलानी मौजूद थे।
सुरीली साजो से सजी शाम-
उत्सव के दूसरे दिन ऐतिहासिक ८४ खंभो की छतरी पर सुरों की सांझ सजी। सारेगामापा फेम रेणु नागर ने सुरीली आवाज का जादु बिखेरा। इससे पहले जैतसागर झील में दीपदान का आयोजन हुआ जिसमें शहर के प्रबुद्धजनों ने उत्साह के साथ भाग लिया।
Updated on:
07 Nov 2017 06:29 pm
Published on:
07 Nov 2017 05:38 pm
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