
कई खिलाड़ी जहां अंतरराष्ट्रीय स्तर पर डेब्यू करते हैं तो कई संन्यास का ऐलान कर तमाम चाहने वालों की आंखे नम कर जाते हैं। हालाकि क्रिकेट प्रशंसकों को बड़ा झटका तब लगता है जब उनका फेवरेट क्रिकेटर दुनिया को अलविदा कह जाता है। इसी कड़ी में साल 2025 के शुरुआती तीन महीनों के अंदर राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपनी छाप छोड़ने वाले कई दिग्गज क्रिकेटर्स के निधन ने क्रिकेट जगत को शोकाकुल कर दिया है। अब बस उनकी यादें ही रह गई हैं। आइए, इन दिग्गजों पर डालते हैं एक नजर…
पूर्व भारतीय ऑलराउंडर सैयद आबिद अली का अमेरिका के कैलीफोर्निया में लंबी बीमारी के बाद निधन हो गया। उन्होंने 12 मार्च 2025 को अंतिम सांस ली। प्रसिद्ध क्रिकेटर सैयद आबिद अली 1960 और 70 के दशक के दौरान भारतीय क्रिकेट के एक मजबूत स्तंभ थे, जो अपने बहुमुखी कौशल के लिए प्रसिद्ध थे। उन्होंने 29 टेस्ट मैचों और 5 वनडे अंतरराष्ट्रीय मैचों में भारत का प्रतिनिधित्व किया और अपनी हरफनमौला खेल से अमिट छाप छोड़ी। वर्ष 1971 में इंग्लैंड और वेस्टइंडीज में भारतीय टीम की ऐतिहासिक टेस्ट सीरीज जीतने में उनका अमूल्य योगदान था, जहां खेल के हर विभाग में उनका प्रदर्शन उम्दा था।
दुनिया के उम्रदराज टेस्ट क्रिकेटर रॉन ड्रेपर ने 28 फरवरी 2025 को दुनिया को अलविदा कह दिया। वह दुनिया के सबसे उम्रदराज जीवित टेस्ट क्रिकेटर थे। उन्होंने दक्षिण अफ्रीका के गेकेबरहा में अंतिम सांस ली। रॉन ड्रेपर शीर्ष क्रम में बल्लेबाजी करने के साथ ही साथ विकेटकीपिंग भी करते थे। 1950 में उन्होंने दक्षिण अफ्रीका के लिए ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ दो टेस्ट
मैच खेले थे। वह दक्षिण अफ्रीका के प्रतिष्ठित करी कप टूर्नामेंट में एक ही मैच में 2 शतक जड़ने वाले पहले बल्लेबाज थे। रॉन ड्रेपर के निधन के बाद अब ऑस्ट्रेलिया टीम के सदस्य रहे उनके प्रतिद्वंद्वी रहे नील हार्वे अब 96 वर्ष की आयु में सबसे बुजुर्ग जीवित टेस्ट खिलाड़ी बन गए हैं।
मुंबई के पूर्व कप्तान और चयनकर्ता मिलिंद रेगे का दिल का दौरा पड़ने से 19 फरवरी 2025 को निधन हुआ। ऑलराउंडर रेगे को 26 वर्ष की उम्र में भी दिल का दौरा पड़ा था, लेकिन वह फिट होकर क्रिकेट के मैदान पर लौटे और रणजी ट्रॉफी में मुंबई टीम की नेतृत्व किया। उन्होंने 1966-67 और 1977-78 के बीच 52 प्रथम श्रेणी मैच खेले। इस दौरान उन्होंने अपनी ऑफ स्पिन बॉलिंग से 126 विकेट चटकाए और 23.56 की औसत से 1532 रन भी बनाए। वह घरेलू क्रिकेट और मुंबई क्रिकेट में सबसे सम्मानित शख्सियतों में से एक थे, जिन्होंने अपने करियर के दौरान कई भूमिकाएं निभाईं। रेगे मुंबई क्रिकेट एसोसिएशन (MCA) से विभिन्न पदों पर जुड़े रहे, जिसमें अलग-अलग कार्यकालों में चयनकर्ता और मुख्य चयनकर्ता भी थे।
मुंबई के स्टार स्पिनर पद्माकर शिवालकर ने 84 वर्ष की उम्र में अंतिम सांस ली। उनका निधन मुंबई में 3 मार्च 2025 को हुआ। उन्होंने घरेलू क्रिकेट में मुंबई के लिए 124 फर्स्ट क्लास मैच खेले, जिसमें 19.69 की शानदार औसत से 589 विकेट अपने नाम किए। घरेलू क्रिकेट में शानदार प्रदर्शन के बावजूद वह कभी भारतीय टीम में जगह नहीं बना सके। इसके पीछे सबसे बड़ा कारण उस दौर में भारतीय टीम में बिशन सिंह बेदी होना था। घरेलू क्रिकेट में पद्माकर शिवालकर के आंकड़े भी उनकी काबिलियत की गवाही देते हैं। उन्होंने 124 प्रथम श्रेणी मैचों में 42 बार 5 विकेट हॉल लिया और 13 बार 10 विकेट हॉल भी अपने नाम किया। इस दौरान उन्होंने 515 रन भी बनाए। इसके अलावा उन्होंने 12 लिस्ट ए मैचों में 16 विकेट चटकाए। उन्होंने अपना आखिरी मुकाबला 1978 में खेला था।
Published on:
16 Mar 2025 04:50 pm
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