चेतन्यदास जी का एक अलग कक्ष बना है। सुबह से शाम तक वहां मेला लगा रहता है। एकांत व प्राकृतिक रूप से रमणीय होने के कारण भक्त वहां जाकर शांत वातावरण का भी अनुभव करते है। महंत ने बताया कि श्रावण मास के सोमवार को विशेष महत्व होने से यहां मेला भरता है और हर दिन भोले बाबा का विशेष श्रृंगार किया जाता है। मंदिर में दूर-दूर से भक्त आते हैं और अपनी मनोकामना के लिए उपाय करते हैं।
कुएं के पानी से पेट के रोग दूर होते हैं
मंदिर के संबंध में कई मान्यताएं हैं। बताते हैं कि पूर्व में यहां खंडहर में शिवलिंग बने हुए थे जिन्हें श्री 1008 चेतन्यदास महाराज ने विधिविधान के साथ शिवलिंग को स्थापित कर मंदिर का निर्माण कराया था। समीप बना कुआं जिसका पानी बेहद शीतल और मीठा है जिसका सेवन कर यहां आने वाले श्रद्धालु पेट दर्द संबंधी रोगों का निदान करते हैं। मंदिर में आने वाले कई भक्तों को इसका लाभ हुआ है।