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Rajasthan: साइबर ठगी से बनाई दौलत, अब 36 लाख की लग्जरी कार और 56 लाख का मकान कुर्क

92 लाख की सम्पत्ति पर पुलिस का शिकंजा, देशभर में कई जगह आरोपी पर साइबर ठगी के मामले दर्ज, लग्जरी कार सहित किया था गिरफ्तार

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आरोपी छैलूसिंह। फोटो- पत्रिका

जोधपुर। पुलिस ने साइबर अपराध में लिप्त एक युवक पर कार्रवाई करते हुए उसकी 36 लाख रुपए की लग्जरी कार और पैतृक गांव में निर्माणाधीन 56 लाख रुपए का आलीशन मकान कुर्क करवा दिया। दोनों चल-अचल संपत्तियों को साइबर ठगी की कमाई से अर्जित माना गया है।

पुलिस उपायुक्त (पश्चिम) विनीत कुमार बंसल ने बताया कि लूणी थाना क्षेत्र के खारा बेरा भीमावतान गांव निवासी छैलूसिंह को गत 8 अगस्त को उसके दो साथियों के साथ लग्जरी कार में पकड़ा गया था। ए-श्रेणी की नाकाबंदी के दौरान डीपीएस सर्कल पर नाका 16 के पास पुलिने उसे रोकने का प्रयास किया, लेकिन वह नाकाबंदी तोड़कर कार भगा ले गया। बाद में राजीव गांधी नगर थाना पुलिस ने कार को रुकवाया।

दो साथी भी गिरफ्तार

मामला दर्ज कर छैलूसिंह और उसके दो साथियों को गिरफ्तार किया गया। मामले की जांच प्रतापनगर सदर थानाधिकारी गोविंद व्यास को सौंपी गई। पूछताछ में सामने आया कि उसके खिलाफ 11 एफआईआर दर्ज हैं और वह साइबर अपराध में भी सक्रिय है। देश के कई हिस्सों में उसके खिलाफ साइबर क्राइम के मामले दर्ज हैं। साइबर ठगी की राशि से वह पैतृक भूमि पर आलीशन मकान बनवा रहा था।

वैध कमाई दिखाने के लिए लोन पर ली थी कार

इसके अलावा उसने लग्जरी कार लोन पर ले रखी थी, ताकि उसे वैध कमाई से खरीदी हुई दिखाया जा सके। जबकि वास्तविकता में कार भी साइबर ठगी की राशि से ही खरीदी गई थी और मकान भी उसी धन से बनवाया जा रहा था। पुलिस ने 36 लाख रुपए की कार और 56 लाख रुपए के मकान को अपराध की कमाई से अर्जित मानते हुए कार्रवाई की।

थानाधिकारी गोविंद व्यास ने बीएनएसएस की धारा 107 के तहत कोर्ट में इस्तगासा पेश किया, जिसमें सहायक अभियोजन अधिकारी कंचन गहलोत ने पैरवी की। न्यायाधीश ने दोनों पक्षों को सुनने के बाद रिकॉर्ड और जांच रिपोर्ट के आधार पर पुलिस के तथ्यों को सही मानते हुए 36 लाख की कार और 56 लाख रुपए का मकान कुर्क करने के आदेश जारी किए।