Rain Update Humidity Alert: राजधानी में शनिवार को उमस भरी गर्मी ने जनजीवन को पूरी तरह प्रभावित कर दिया। दिनभर सूरज की तपिश और नमी भरे वातावरण के कारण लोग बेहाल रहे। बारिश की संभावना के बावजूद शनिवार को एक बूंद भी पानी नहीं गिरा, जिससे नागरिकों की उम्मीदों पर पानी फिर गया। मौसम विभाग का अनुमान है कि रविवार से राजधानी में एक बार फिर बारिश का सिलसिला शुरू हो सकता है, जो सोमवार तक जारी रह सकता है।
शहर के अधिकांश हिस्सों में शनिवार को तापमान सामान्य स्तर पर बना रहा, लेकिन हवा में नमी की मात्रा अधिक होने के कारण दिन भर भारी उमस महसूस की गई। मौसम वैज्ञानिकों के अनुसार, शुक्रवार को जो बारिश हुई थी, उसके बाद आसमान साफ होने लगा और सूरज की तीखी किरणें धरती पर जमकर पड़ीं। परिणामस्वरूप हवा में नमी बरकरार रही और तापमान का प्रभाव अपेक्षाकृत ज्यादा महसूस हुआ। आलम यह रहा कि 35-36 डिग्री सेल्सियस का तापमान भी 40 डिग्री के बराबर लग रहा था। उमस का स्तर इतना अधिक था कि एयर कंडीशनर वाले कमरों में भी राहत नहीं मिली। कई क्षेत्रों में लोग दिन के समय घरों में बंद रहने को मजबूर रहे, तो वहीं शाम को पार्कों और छायादार स्थानों में कुछ राहत की तलाश में निकले।
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उमस के बीच कई इलाकों में बिजली की आंखमिचौली ने आम जनता की परेशानियों को और भी बढ़ा दिया। गोमती नगर, अलीगंज, इन्दिरानगर, अमीनाबाद और राजाजीपुरम जैसे क्षेत्रों से बिजली कटौती की शिकायतें सामने आईं। उमस भरी गर्मी में जब पंखे और कूलर बंद हुए, तो लोगों की नींद भी उचट गई। सोशल मीडिया पर भी लोगों ने बिजली कटौती को लेकर यूपी पावर कॉर्पोरेशन पर नाराजगी जाहिर की।
मौसम विभाग के वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉ. अतुल कुमार सिंह ने जानकारी दी कि रविवार से पूर्वी उत्तर प्रदेश में मानसूनी गतिविधियां दोबारा सक्रिय होने के संकेत मिल रहे हैं। उन्होंने बताया, "रविवार को लखनऊ और आस-पास के क्षेत्रों में हल्की से मध्यम बारिश हो सकती है। सोमवार तक यह सिलसिला जारी रहने की उम्मीद है, जिससे तापमान में गिरावट आएगी और उमस से राहत मिलेगी।" हालांकि उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि अगले दो दिनों में भारी बारिश की संभावना नहीं है, लेकिन रुक-रुक कर होने वाली बूंदाबांदी मौसम को सुहावना बना सकती है।
मौसम विशेषज्ञों के अनुसार जब बारिश के बाद सूरज चमकने लगता है तो धरती की सतह से जल वाष्पीकरण की प्रक्रिया तेज हो जाती है। यह वाष्प वातावरण में नमी बढ़ा देता है, जिससे उमस का अहसास ज्यादा होता है। विशेष रूप से जब हवा की गति धीमी हो, तो यह वाष्प वातावरण में बना रहता है और लोगों को बेचैनी का अनुभव होता है।
बाजारों में रौनक कम रही। गर्मी और उमस के चलते आमजन सुबह या देर शाम की खरीदारी को तरजीह देते दिखे। मेडिकल स्टोर और जूस की दुकानों पर विशेष भीड़ देखी गई। गर्मी से राहत पाने के लिए लोग नींबू पानी, नारियल पानी और ठंडे पेय पदार्थों की ओर झुके। निजी अस्पतालों में भी डिहाइड्रेशन और चक्कर आने की शिकायतों वाले मरीजों की संख्या में वृद्धि देखी गई।
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स्वास्थ्य विभाग ने नागरिकों को सलाह दी है कि इस मौसम में अधिक मात्रा में पानी पिएं, बाहर निकलते समय सिर को ढकें और हल्के व सूती कपड़े पहनें। वरिष्ठ चिकित्सक डॉ. प्रदीप श्रीवास्तव ने कहा, “इस तरह के मौसम में लू लगने और डिहाइड्रेशन की संभावना बढ़ जाती है। बच्चों और बुजुर्गों को विशेष ध्यान देने की जरूरत है।” कुछ अभिभावकों ने मांग की है कि जब तक मानसून पूरी तरह सक्रिय नहीं हो जाता और तापमान में गिरावट नहीं आती, तब तक स्कूलों में समय परिवर्तन या छुट्टी पर विचार किया जाए। विशेष रूप से दोपहर के समय बच्चों को स्कूल से घर लाने में दिक्कतें बढ़ जाती
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Published on:
22 Jun 2025 09:39 am