
केंद्र की राह पर चली यूपी सरकार, 1 जनवरी 2025 से लागू होंगी नई दरें, मई में बढ़ा हुआ डीए मिलेगा, जनवरी-मार्च का एरियर अलग से मिलेगा
Yogi Government State Employee DA Hike: उत्तर प्रदेश सरकार ने प्रदेश के लाखों कर्मचारियों, शिक्षकों और पेंशनभोगियों को बड़ी राहत दी है। महंगाई की मार झेल रहे इन कर्मचारियों के लिए योगी सरकार ने एक बड़ा ऐलान करते हुए महंगाई भत्ते (Dearness Allowance - DA) में 2 प्रतिशत की वृद्धि कर दी है। पहले जहां कर्मचारियों को 53% महंगाई भत्ता मिल रहा था, अब यह बढ़कर 55% हो गया है। यह फैसला राज्य के वित्त विभाग की ओर से अधिसूचित कर दिया गया है और इसे 1 जनवरी 2025 से प्रभावी माना जाएगा। यह बढ़ा हुआ महंगाई भत्ता मई 2025 में मिलने वाली अप्रैल माह की सैलरी के साथ कर्मचारियों को मिलेगा, जबकि जनवरी से मार्च 2025 तक का एरियर बाद में अलग से भुगतान किया जाएगा।
यह उल्लेखनीय है कि केंद्र सरकार ने पहले ही अपने कर्मचारियों का डीए दो फीसदी बढ़ाने का निर्णय लिया था। उसके कुछ ही हफ्तों बाद अब योगी सरकार ने भी अपने राज्य के कर्मचारियों के हित में यह फैसला लिया है। इस फैसले से राज्य के करीब 16 लाख सरकारी कर्मचारी, शिक्षक और पेंशनधारक सीधे लाभान्वित होंगे। महंगाई भत्ते में यह बढ़ोतरी राज्य सरकार के कर्मचारियों के मासिक वेतन में राहत लाएगी, खासकर उन परिवारों के लिए जो हाल ही में बढ़ती महंगाई के चलते आर्थिक दबाव में थे।
महंगाई भत्ता वह राशि है, जो कर्मचारियों को महंगाई की दर को ध्यान में रखते हुए उनके मूल वेतन के अतिरिक्त दी जाती है। इसका उद्देश्य बढ़ती कीमतों के असर को कम करना होता है ताकि कर्मचारियों की क्रय शक्ति प्रभावित न हो। केंद्र और राज्य सरकारें आमतौर पर हर 6 महीने में डीए की समीक्षा करती हैं और जब महंगाई दर में बदलाव होता है, तो उसी अनुरूप डीए में संशोधन किया जाता है।
महंगाई भत्ते की इस बढ़ोतरी को लेकर राज्य भर के कर्मचारियों में खुशी की लहर है। विभिन्न कर्मचारी संगठनों ने सरकार के इस फैसले का स्वागत किया है। उनका कहना है कि इससे आर्थिक राहत तो मिलेगी ही, साथ ही यह भरोसा भी जगेगा कि सरकार कर्मचारियों के हितों के प्रति संवेदनशील है। राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद के अध्यक्ष ने कहा, "हम लंबे समय से डीए वृद्धि की मांग कर रहे थे। सरकार ने सकारात्मक रुख दिखाते हुए हमारी मांग मान ली है।"
हालांकि इस फैसले से राज्य सरकार पर हर साल हजारों करोड़ रुपये का अतिरिक्त वित्तीय बोझ आएगा, लेकिन सरकार ने अपने बजट प्रबंधन के तहत इसे समायोजित करने की योजना पहले ही बना ली है। सूत्रों के अनुसार, वित्त विभाग ने पिछले महीने ही इस वृद्धि पर फाइनेंशियल इम्पैक्ट का आकलन कर लिया था और मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को रिपोर्ट सौंपी थी।
Updated on:
10 Apr 2025 12:02 pm
Published on:
10 Apr 2025 07:41 am
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