
3 साल की बेटी की बेरहमी से हत्या के मामले में कोर्ट ने मात्र 3 माह में सुनाया ऐतिहासिक फैसला
मुजफ्फरनगर. मासूम की हत्या के एक मामले में एसीजीएम कोर्ट ने ऐतिहासिक फैसला सुनाया है। बता दें कि 3 माह पहले 3 साल की मासूम गला रेतकर बेरहमी से हत्या कर दी गई थी। इस मामले में एसीजीएम कोर्ट ने मात्र 3 माह में ऐतिहासिक फैसला देते हुए मासूम के हत्यारोपी माता-पिता समेत हत्या की सलाह देने वाले एक अन्य व्यक्ति को उम्रकैद की सजा सुनाई है। इसके साथ ही 20-20 हजार रुपये का अर्थदंड भी लगाया है । सजा होने के बाद कोर्ट से तीनों हत्यारोपियों को जेल भेज दिया गया है। बताया जा रहा है कि माता-पिता ने जमीनी विवाद में अपने भाई को फंसाने के लिए अपनी ही बेटी की हत्या को अंजाम दे दिया था।
दरअसल, मामला मुजफ्फरनगर के भोपा थाना क्षेत्र के गांव नगला बुजुर्ग का है। जहां 2 मई 2018 को पिता शमीम ने अपनी पत्नी खुशनसीब व अपने दोस्त जहीर अब्बास के साथ मिलकर अपनी 3 साल की मासूम बेटी लाइबा की चाकू से गला रेतकर निर्मम हत्या कर दी थी। इसके बाद शमीम ने अपने छोटे भाई मोबान पर अपनी बेटी के अपहरण कर हत्या का आरोप लगाया था। बच्ची की हत्या के बाद क्षेत्र में सनसनी फैल गई थी। मासूम की हत्या की सूचना मिलते ही पुलिस मौके पर पहुंची और बच्ची के माता-पिता से गहन पूछताछ की। पुलिस को माता-पिता के बयान संदिग्ध लगे। इसके बाद उन्होंने सख्ती से पूछताछ की तो माता-पिता मात्र 3 घंटे में ही टूट गए।
शमीम नेे बच्ची की हत्या का जुर्म कबूल करते हुए बताया कि उसका छोटे भाई मोबान से जमीन को लेकर विवाद चल रहा था। इसलिए उसने पत्नी खुशनसीब और अपने एक दोस्त के साथ अपनी बेटी की गला रेतकर हत्या करने की योजना बनाकर भाई को फंसाने की साजिश रच डाली। इस तरह पुलिस ने मासूम लाइबा की हत्या का मात्र 3 घंटे में ही खुलासा करते हुए माता-पिता सहित एक अन्य व्यक्ति को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था। करीब तीन महीने चली सुनवाई के बाद एसीजीएम कोर्ट सेकंड न्यायाधीश अजय कुमार ने मासूम की हत्या का तत्काल संज्ञान लेते हुए तीनों हत्यारोपियों को उम्र कैद की सजा सुना दी है। इसके साथ ही तीनों आरोपियों पर 20-20 हजार रुपये का अर्थदंड भी लगाया है। सजा सुनाए जाने के बाद तीनों हत्यारोपियों को जेल में शिफ्ट कर दिया गया है।
Published on:
29 Aug 2018 01:37 pm
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